कोलकाता: दिग्गज चेस खिलाड़ी विश्वनाथन आनंद ने शानदार प्रदर्शन करते हुए प्लेऑफ में टॉप पर चल रहे हिकारू नकामुरा को हराकर पहला भारत ब्लिट्ज चेस टूर्नामेंट जीता। आनंद मंगलवार को पहले चरण के बाद चौथे स्थान पर थे लेकिन आखिरी दिन इस 48 साल भारतीय ने छह बाजियां जीती तथा तीन ड्रॉ खेली और वह विश्व में तीसरे नंबर के अमेरिकी नकामुरा की बराबरी पर पहुंच गये। इसके बाद विजेता तय करने के लिये दो दौर का प्लेऑफ खेला गया जो ब्लिट्ज से भी तेज होता है। आनंद ने सफेद मोहरों से जीत दर्ज की और फिर काले मोहरों से ड्रॉ खेलकर 1.5-0.5 से जीत हासिल हासिल की।
कोलकाता में 1992 के बाद पहली बार खेल रहे आनंद ने कहा,‘‘मैं दर्शकों को यह दिखाना चाहता था कि मैं इतने समय में दुनिया के दूसरे स्थानों पर क्या करता रहा और मैं यहां भी वैसा करने में सफल रहा इससे अच्छा लग रहा है।’’
यह स्टार खिलाड़ी 2013 में अपने घरेलू शहर में विश्व चैंपियनशिप में मैगनस कार्लसन से हारने के बाद पहली बार स्वदेश में किसी टूर्नामेंट खेल रहा था।
आनंद ने कहा,‘‘यह मेरा सपना था। हमारे पास अच्छे खिलाड़ी हैं लेकिन हमारे यहां दुनिया के टॉप खिलाड़ी नियमित तौर पर नहीं आते थे। अब ऐसा भी हो गया। इसलिए मेरे लिये भारत में और विशेषकर यहां कोलकाता में खेलना काफी मायने रखता है।’’
भारत के युवा ग्रैंडमास्टर आर प्रागनंदा ने भी आखिरी दौर में नकामुरा को ड्रॉ पर रोकर आनंद की जीत में हाथ बंटाया।
नकामुरा ने कहा,‘‘मैं पक्के तौर पर कह सकता हूं कि मैं विशी की उम्र में शतरंज नहीं खेलूंगा। इसलिए यह बेजोड़ है और खासकर अगर आप उनकी तुलना गैरी कांस्पारोव से करते हैं।’’