जापान के प्रधानमंत्री योशिहिदे सुगा ने तोक्यो ओलंपिक से पहले खेल अधिकारियों से कहा कि दुनिया को दिखाना है कि जापान ओलंपिक खेलों की सुरक्षित मेजबानी कर सकता है। कोरोना महामारी के बीच घोषित आपातकाल की स्थिति में हजारों खिलाड़ी, अधिकारी, स्टाफ और मीडियाकर्मी जापान पहुंच रहे हैं। प्रतिस्पर्धा बुधवार से शुरू हो जायेंगी जब सॉफ्टबॉल और महिला फुटबॉल के मुकाबले होंगे।
सुगा ने यहां एक पांच सितारा होटल में अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति के सदस्यों के साथ बैठक में कहा, "दुनिया बड़ी समस्याओं से घिरी है। ऐसे में हमें ओलंपिक की सफल मेजबानी करनी है। जापान को यह दुनिया को दिखाना है। हम जापान के लोगों के स्वास्थ्य और सुरक्षा का ध्यान रखेंगे।"
सुगा ने स्वीकार किया कि ओलंपिक तक के जापान के सफर की रफ्तार कई बार मंद पड़ी लेकिन कहा कि टीकाकरण शुरू होने के बाद लंबा इंतजार खत्म होता दिख रहा है। जापान में स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने ओलंपिक के दौरान विदेशों से इतने सारे आगंतुकों को आने की अनुमति देने पर सवाल उठाये थे। ओलंपिक में स्थानीय या विदेशी दर्शक नहीं होंगे।
आईओसी अध्यक्ष थॉमस बाक को दो सप्ताह पहले यहां पहुंचने के बाद से विरोध का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि खेल शांति, एकजुटता और सद्भाव का संदेश देंगे। उन्होंने यह भी कहा कि खेलों को रद्द करना कभी विकल्प नहीं था। आईओसी अध्यक्ष ने मेजबानों की प्रशंसा करते हुए कहा, "दुनिया भर में अरबों लोग ओलंपिक खेलों का अनुसरण करेंगे और उनकी सराहना करेंगे।"
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खेलों के आयोजन से दुनिया भर के प्रसारकों से तीन बिलियन डॉलर (लगभग 2.23 खरब रूपये) से अधिक का राजस्व प्राप्त होगा। यह स्विट्जरलैंड स्थित आईओसी के संचालन में मदद करता है। आईओसी इस रकम से 206 राष्ट्रीय टीमों और ओलंपिक खेलों के शासकीय निकायों के साथ करोड़ों डॉलर साझा करता है। बाक ने कहा कि आईओसी ओलंपिक और पैरालंपिक के तोक्यो आयोजकों को 1.7 बिलियन डॉलर (लगभग 1.26 खरब रुपये) का योगदान दे रहा है।