जकार्ता: दूसरे हाफ में अपने कमजोर डिफेंस और खराब रेडिंग के कारण भारतीय महिला कबड्डी टीम को 18वें एशियाई खेलों में छठे दिन शुक्रवार को स्वर्ण पदक से हाथ धोना पड़ा। भारतीय महिला कबड्डी टीम को ईरान के खिलाफ फाइनल मुकाबले में 24-27 से मिली हार के कारण रजत पदक से संतोष करना पड़ा। एशियाई खेलों में ईरान की महिला टीम को पहली बार कबड्डी में स्वर्ण पदक हासिल हुआ है, वहीं भारतीय टीम अपने स्वर्ण पदक की हैट्रिक नहीं लगा पाई। भारतीय टीम ने 2010 और 2014 में हुए एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक जीता था।
एशियाई खेलों में पहली बार हिस्सा ले रहीं भारतीय महिला कबड्डी टीम की कप्तान पायल चौधरी ने रेड मारकर भारत का खाता खोला। ईरान की रेडर सादिगेह जाफरी ने रेड मारकर स्कोर 2-2 से बराबर कर दिया।
यहां रणदीप कौर खेरा, पायल और शोनाली की रेडिंग के साथ-साथ रितु नेगी और साक्षी के डिफेंस के दम पर भारत ने ईरान के खिलाफ 13-8 की बढ़त बना ली थी लेकिन ईरान ने अजादेह की रेडिंग और अपने डिफेंस से पहले हाफ में भारत के खिलाफ स्कोर 11-13 कर लिया।
दूसरे हाफ में ईराने ने अच्छी वापसी की और अपने रेडिंग और डिफेंस से भारतीय टीम पर दबाव बनाते हुए 24-20 से बढ़त बना ली।
यहां भारत की डिफेंडर रितु नेगी ने अच्छी कोशिश कर एक अंक लिया और भारत का स्कोर 21-14 किया। अपनी कमजोर रेडिंग के कारण भारत एक बार फिर ईरान से चार अंक से पिछड़ गया।
भारत के पास अपनी हार को जीत में तब्दील करने के लिए केवल तीन मिनट का समय बाकी था। साक्षी ने यहां सुपर रेड मारकर तीन अंक लिए और पासा पलटते हुए स्कोर 25-25 कर दिया था लेकिन ईरान ने यहां आखिर में दम लगाते हुए इस मैच को 27-24 से जीत कर स्वर्ण पदक जीत लिया।