ढाका: एशिया कप हॉकी में आज भारत-पाकिस्तान की टीमें एक बार फिर आमने-सामने होंगी. भारतीय टीम ने पूल ए में बांग्लादेश और जापान पर एकतरफ़ा जीत दर्ज की थी और अब आत्मविश्वास से लबरेज़ वह बहु प्रतीक्षित मुकाबले में चिर प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान से भिड़ेगी. भारत को खिताब का प्रबल दावेदार माना जा रहा है.
मनप्रीत सिंह की कप्तानी में भारतीय टीम ने शुरूआती मैच में पहले जापान को 5 -1 और फिर बांग्लादेश को 7-0 से हराया था. वहीं पाकिस्तान ने बांग्लादेश को 7-0 से हराया जबकि जापान ने उसे 2-2 से ड्रा पर रोक दिया था. भारत पूल ए में 6 अंक लेकर टॉप पर है जबकि पाकिस्तान चार अंक के साथ दूसरे स्थान पर है.
भारत दो जीत के साथ सुपर चार चरण में पहुंच चुका है लेकिन कोच शोर्ड मारिन की टीम सारे मैच जीतकर पूल चरण में अपराजेय रहना चाहेगी. पहले दो मैचों में भारत ने शानदार खेल दिखाया और कई मौके बनाये. भारत ने कुछ अच्छे फील्ड गोल किये लेकिन टीम के लिए पेनल्टी कार्नर अब भी चिंता का सबब बना हुआ है. बांग्लादेश के खिलाफ भारत को 13 पेनल्टी कार्नर मिले लेकिन दो पर ही गोल हो सका.
कोच रोलेंट ओल्टमेंस को हटाने के एक महीने बाद पदभार संभालने वाले मारिन के लिये यह मैच अभी तक की सबसे बड़ी चुनौती होगी. इतिहास साक्षी है कि भारत और पाकिस्तान के मैच सिर्फ रोमांचक ही नहीं बल्कि तनाव से भी भरे रहते हैं. भारतीय टीम को आज के मैच में अपने जज्बात पर काबू रखना होगा. एकाग्रता भंग होने का उसे खामियाजा भुगतना पड़ सकता है.
भारत ने चिर प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान को लंदन में जून में हीरो हॉकी विश्व लीग सेमीफाइनल में पांचवें से आठवें स्थान के मुकाबले में 6-1 से हराया था. उस हार से पाकिस्तान की अगले साल भुवनेश्वर में होने वाले हॉकी विश्व कप में जगह बनाने की उम्मीदों को करारा झटका लगा और अब वह इसका बदला लेने उतरेगा.
विश्व रैंकिंग में 14वें स्थान पर काबिज पाकिस्तान ने चार विश्व खिताब और तीन एशिया कप जीते हैं लेकिन आखिरी जीत 1989 में मिली थी. पाकिस्तान के लिये यह लगभग करो या मरो का मुकाबला है क्योंकि हारने से उसकी सुपर चार में पहुंचने की उम्मीदों को झटका लग सकता है.