चेतेश्वर पुजारा ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ दिल्ली के अरुण जेटली स्टेडियम में अपने करियर का 100वां टेस्ट मैच खेल रहे हैं। वह 100 टेस्ट क्लब में शामिल होने वाले भारतीय क्रिकेट इतिहास के 13वें खिलाड़ी बन गए हैं। अपने 12 साल से ज्यादा लंबे करियर में लगातार कठिन परिश्रम के बल पर वह इस ऐतिहासिक मोड़ पर पहुंचे, लेकिन इसे वह यादगार बनाने से चूक गए। पुजारा ने अपने 100वें टेस्ट में एक ऐसा अनचाहा रिकॉर्ड बनाया जिसे वह हरगिज याद नहीं रखना चाहेंगे। मैच के दूसरे दिन पहले सेशन में वह बल्लेबाजी करने के लिए मैदान में उतरे पर उनकी पारी सात गेंद से आगे नहीं बढ़ सकी।
100वें टेस्ट में शून्य पर आउट होने वाले दूसरे भारतीय खिलाड़ी
दिल्ली के कोटला मैदान पर पुजारा जब मैदान पर बल्लेबाजी के लिए उतरे तब भारत 46 रन पर एक विकेट गंवा चुका था। सलामी बल्लेबाज केएल राहुल 17 रन बनाकर पवेलियन लौट चुके थे और भारतीय टीम ऑस्ट्रेलिया के 263 रन से 217 रन पीछे थी। जरूरत टिककर बल्लेबाजी करने की थी पर पुजारा इस खास मौके पर चूक गए। वह अपने 100वें टेस्ट मैच में शून्य स्कोर करने वाले केवल दूसरे भारतीय और कुल सातवें बल्लेबाज बन गए। सौराष्ट्र के बल्लेबाज का विकेट कंगारू ऑफ स्पिनर नाथन लायन ने चटकाया। 35 साल के पुजारा को लायन ने एलबीडब्लू आउट किया। इस तरह से वह पूर्व भारतीय कप्तान दिलीप वेंगसरकर के बाद अपने 100वें टेस्ट में शून्य पर आउट होने वाले दूसरे भारतीय बल्लेबाज बन गए।
100वें टेस्ट में शून्य पर आउट होने वाले सातवें खिलाड़ी
चेतेश्वर पुजारा अपने 100वें टेस्ट में शून्य पर आउट होने वाले दुनिया के सातवें बल्लेबाज बन गए। इस अनचाहे क्लब में उनसे पहले ऑस्ट्रेलिया के पूर्व कप्तान एलन बॉर्डर और मार्क टेलर, इंग्लैंड के पूर्व कप्तान एलिस्टेयर कुक और न्यूजीलैंड के कप्तान स्टीफन फ्लेमिंग और ब्रेंडन मैक्कलम के अलावा हमवतन वेंगसरकर अपनी मौजूदगी दर्ज करा चुके हैं।
हर 15वीं पारी में शून्य पर आउट होते हैं पुजारा
चेतेश्वर पुजारा ने अपने अब तक के करियर में 100 टेस्ट की 170 पारियों में 43.88 के औसत से 7021 रन बनाए हैं। इस दौरान उन्होंने 19 शतकों के साथ 34 अर्धशतक भी लगाए हैं जबकि कुल 12 बार शून्य पर आउट हुए हैं। यानी पुजारा अपने टेस्ट करियर की हर 15वीं पारी में खाता खोले बगैर आउट होते रहे हैं।