भारत और वेस्टइंडीज के बीच खेले गए मैच में भारतीय कप्तान विराट कोहली और उप-कप्तान रोहित शर्मा ने धमाकेदार पारी खेलकर भारत को जीत दिलाई। रोहित ने जहां 152 रनों की नाबाद पारी खेली वहीं कप्तान कोहली ने भी 140 रन बनाए। इन दोनों के बीच दूसरे विकेट के लिए 246 रनों की विशाल साझेदारी भी हुई। कप्तान कोहली के आउट हो जाने के बाद रायडू ने अंत में आकर 22 रनों की नाबाद पारी खेली।
भारतीय टीम पिछले कुछ समय में वनडे फॉर्मेट में काफी अच्छा परफॉर्म कर रही है। इस बात का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि भारत ने पिछले चार सालों में खेले 86 मैचों में से 58 मैच जीते हैं। मतलब भारत 67 प्रतिशत मैच जीतने में कामयाब रहा है। लेकिन फिर भी भारत के मिडिल ऑर्डर की समस्या अभी तक खतम नहीं हो पाई है। ऐसा क्यों है आज हम आपको कुछ आंकड़े दिखाकर बताएंगे।
बात सबसे पहले भारतीय कप्तान विराट कोहली की करते हैं। कोहली ने पिछले चार सालों में 71 मैच खेले हैं, जिसमें उन्होंने 73.45 की औसत से 4040 रन बनाए हैं। वहीं रोहित शर्मा और शिखर धवन ने इतने ही सालों में 65-65 मैच खेलकर 3738 और 3064 रन बनाए हैं। अगर इन तीनों के रनों को जोड़ा जाए तो पिछले चार सालों में इन तीनों बल्लेबाजों ने मिलकर 10,842 रन बनाए हैं। वहीं टीम इंडिया ने पिछले चार सालों में 21,010 रन बनाए हैं।
इसका मतलब यह हुआ कि भारत ने पिछले चार साल में जितने रन बनाए हैं उनमें से 51.60 प्रतिशत रन तो इन्हीं तीन बल्लेबाजों ने बनाए हैं और बाकी बचे हुए रन टीम के अन्य खिलाड़ियों ने, जिनमें धोनी, रहाणे, रायडू, केएल राहुल और हार्दिक पांड्या जैसे बड़े नाम शामिल हैं।
यह तीनों खिलाड़ी ही भारत के लिए रन बना रहे हैं और टीम के अन्य खिलाड़ी बल्लेबाजी कर रहे हैं तो सिर्फ नेट्स में। टीम में रहने की वजह से ये खिलाड़ी ना तो घरेलू क्रिकेट खेल पा रहे हैं और टीम में रहते हुए इन्हें ज्यादा मौके नहीं मिल रहे। जब इन्हें मौका मिलता है तो यह रन नहीं बना पाते, बनाए भी कैसे मैदान पर पहले इन्हें ज्यादा समय बिताने का मौका ही नहीं मिला।
भारत की जीत के नजरिए से तो यह बात ठीक लगती है कि यह तीनों खिलाड़ी अपने कंधों पर टीम का भार लेकर चल रहे हैं, लेकिन तब क्या होता है जब यह तीनों खिलाड़ी जल्दी आउट हो जाते हैं। इन तीनों खिलाड़ियों के जल्दी आउट हो जाने के बाद टीम इंडिया ताश के पत्तों की तरह ढह जाती है। ऐसे में कैसे भारत इस समस्या का तोड़ निकाल सकती है।
ऐसे में अब इस समस्या का हल अब सिर्फ कोहली के बल्लेबाजी क्रम में बदलाव करने से ही निकल सकता है। कोहली ऐसे बल्लेबाज है जो किसी भी क्रम में आकर बल्लेबाजी कर टीम के लिए रन बना सकते हैं। ऐसे में अगर कोहली नंबर चार या पांच पर आकर रायडू व एक अन्य बल्लेबाज को वर्ल्डकप तक ऊपरी क्रम में बल्लेबाजी करने का मौका देते हैं तो ये खिलाड़ी मैदान पर ज्यादा से ज्यादा समय बिताकर रन बना सकते हैं। जब इन खिलाड़ियों के रन बनाने का सिलसिला वर्ल्डकप तक शुरु हो जाए तो कोहली वापस नंबर तीन पर बल्लेबाजी करने आ सकते हैं।