पाकिस्तान के पूर्व कप्तान शाहिद अफरीदी का मानना है कि राष्ट्रीय टीम की ओर से खेलना बेहद आसान हो गया है और खिलाड़ियों को घरेलू क्रिकेट में कुछ सत्र बिताने के बाद ही टीम में चुना जाना चाहिए। एक समारोह के दौरान अफरीदी ने टेस्ट और सीमित ओवरों के प्रारूपों के लिए राष्ट्रीय टीम में चयन की नीति पर निशाना साधा।
अफरीदी ने विशेष रूप से लिमिटेड ओवरों की पाकिस्तान की टीम में खिलाड़ियों को बदलने और डेब्यू कराने की आलोचना की। अफरीदी ने कहा, ‘‘राष्ट्रीय टीम की ओर से खेलना इतना आसान हो गया है जबकि अतीत में पाकिस्तान टीम की ओर से खेलना किसी भी पेशेवर क्रिकेटर का सर्वोच्च लक्ष्य होता था।’’
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अफरीदी ने कहा कि पाकिस्तान टीम में जगह बनाना इतना आसान हो गया है कि घरेलू क्रिकेट में बेहद कम अनुभव वाले खिलाड़ियों को भी जल्दबाजी में टीम में शामिल किया जाता है और फिर बाहर कर दिया जाता है।
इस ऑलराउंडर का मानना है कि राष्ट्रीय टीम में चयन के लिए नाम पर विचार से पहले प्रत्येक खिलाड़ी को घरेलू क्रिकेट में कम से कम दो या तीन साल खेलने का अनुभव देना चाहिए।
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अफरीदी ने कहा, ‘‘हमने खिलाड़ियों के लिए देश का प्रतिनिधित्व करना इतना आसान क्यों बना दिया है। मुझे यह देखकर दुख होता है कि घरेलू क्रिकेट या फिर पाकिस्तान सुपर लीग में एक या दो मैचों में अच्छे प्रदर्शन के बाद खिलाड़ी को राष्ट्रीय टीम में जगह मिल जाती है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘यह क्या है। आपको अपने क्रिकेटरों को घरेलू क्रिकेट में खिलाना चाहिए।’’ अफरीदी ने कहा कि बल्लेबाजों और गेंदबाजों को कम से कम दो से तीन साल का अनुभव देना चाहिए और इसके बाद ही चयनकर्ता उसकी प्रतिभा, धैर्य और दबाव झेलने की क्षमता पर फैसला करें।