नई दिल्ली: भारतीय टीम के गेंदबाजी कोच भरत अरुण ने फिरोजशाह कोटला मैदान पर खेले जा रहे तीसरे टेस्ट मैच के दूसरे दिन रविवार को श्रीलंकाई खिलाड़ियों के प्रदूषण के कारण तीन बार खेल रोके जाने पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि मेहमान टीम के खिलाड़ियों का ध्यान शायद प्रदूषण पर था, मैच पर नहीं। दिन के दूसरे सत्र में श्रीलंका के तकरीबन पांच से ज्यादा खिलाड़ी मैदान पर प्रदूषण के कारण मास्क लगाकर उतरे थे। इस पर भरत ने कहा कि विराट ने तकरीबन दो दिन तक बल्लेबाजी की लेकिन उन्होंने मास्क नहीं पहना।
दिन का खेल खत्म होने के बाद संवाददाता सम्मेलन में भरत से जब पूछा गया कि क्या श्रीलंकाई खिलाड़ियों का तीन बार मैच रोकने का मकसद भारतीय खिलाड़ियों की लय को तोड़ना था? इस पर भरत ने कहा, वह शायद प्रदूषण पर ध्यान केंद्रित करना चाहते थे। उनका ध्यान शायद कहीं और था। हो सकता है कि इससे हमारी लय टूटी हो। उस समय जब मैच रूका गया तब हम मैच जारी रखना चाहते थे।
दिन के दूसरे सत्र में भारत जब पांच विकेट खोकर 509 रनों पर था तभी श्रीलंकाई गेंदबाज लाहिरू गमागे को परेशानी हुई और खेला रोका गया। इसी बीच श्रीलंकाई खिलाड़ियों ने खराब वातावरण की शिकायत मैदानी अंपायरों से की। जिसके कारण तकरीबन 15 मिनट का खेल रुका।
बार-बार खेल रूकता देख भारतीय कोच रवि शास्त्री भी मैदान पर पहुंचे और उन्होंने अंपायरों से इस बारे में बात की। शास्त्री ने अंपायरों से कहा मैच को जारी रखें रोकें नहीं।
मैच दोबारा शुरू हुआ और रविंचद्रन अश्विन (4) का विकेट गिरा। इसी बीच कप्तान कोहली भी अपने टेस्ट करियर के सर्वश्रेष्ठ स्कोर 243 रनों पर लक्षण संदकाना की गेंद पगबाधा करार दे दिए गए। कोहली के जाने के बाद एक बार फिर खेल रुका 127वें ओवर में श्रीलंका के टीम मैनेजर असंका गुरुसिंहा मैदानी अंपायरों से कुछ शिकायत करने लगे।
पांच मिनट तक खेल रुकने के बाद मैच एक बार फिर शुरू हुआ लेकिन पांच गेंद बाद श्रीलंका के कप्तान दिनेश चंडीमल ने 10 खिलाड़ी होने के कारण मैच रोक दिया और इसी बीच श्रीलंका टीम के कोच निक पोथास मैदान पर आकर अंपायरों से बात करने लगे। इसी बीच भारतीय ड्रेसिंग रूम से कोहली ने परेशान होकर पारी घोषित कर दी।