कोरना महामारी के बीच इंडियन प्रीमीयर लीग ( आईपीएल ) का आगाज यूएई में 19 सितंबर से होना है। जिसके लिए सभी फ्रेंचाईजी ने मैदान में उतरकर ट्रेनिंग करना भी शुरू कर दिया है। इसी बीच रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर ( आरसीबी ) के कप्तान विराट कोहली भी दो बार बल्लेबजी का नेट सेशन कर चुके हैं। जिसके चलते 5 महीने बाद बल्ला पकड़ने के कारण कोहली ने पहला नेट सेशन करने के बाद कहा था कि उनके अंदर एक डर सा बैठ गया था। जिससे वो पार पा सके हैं। वहीं राजस्थान रॉयल्स के पूर्व कोच पैडी अप्टन ने कोहली को लेकर कहा है कि उनके जैसे बल्लेबाजों को आईपीएल के आगामी सीजन में संघर्ष करते देखा जा सकता है।
ईएसपीएनक्रिकइंफो से बातचीत में इसके पीछे का कारण बताते हुए अप्टन ने कहा, "बड़ें मैचों वाले खिलाड़ी उस समय दबाव को बेहतर तरीके से झेलते है जब वहां आस-पास बड़ी संख्या में लोग होते हैं। इस बार मैच खाली स्टेडियम में होंगे जिससे खिलाड़ियों पर उस स्तर का दबाव नहीं होगा।''
वहीं आगे उन्होंने कोहली के बारे में कहा, ''विराट कोहली जैसे बड़े मैचों में बेहतर प्रदर्शन करने वाले खिलाड़ियों को यह देखना होगा कि दर्शकों के शोरगुल और हौसलाअफजाई के बिना वह वैसा प्रदर्शन कर पाएंगे?''
ये भी पढ़े : सुरेश रैना ने पंजाब के मुख्यमंत्री से लगाई गुहार, रिश्तेदारों के कातिलों को मिले सज़ा
जबकि उन्होंने आगे बताया कि इस आईपीएल में वो खिलाड़ी ज्यादा सफल होंगे जो खुद से प्रेरणा लेते हैं और उनपर बाहरी तत्वों जैसे की फैंस के शोरगुल पर निर्भर नहीं रहते हैं।
उन्होंने कहा, ''जो खिलाड़ी खुद से प्रेरणा लेते है वे अच्छा प्रदर्शन करेंगे। बाहर से आत्मविश्वास, प्रेरणा लेने वाले खिलाड़ी संघर्ष करेंगे।''
गौतलब है कि 19 सितंबर से 10 नवंबर के बीच 53 दिनों से अधिक दिनों तक खिलाड़ी बायो बबल वातावरण में रहेंगे। जिसको लेकर अप्टन का मानना है कि इस तरह के माहौल में रहना भी खिलाड़ियों के लिए मुश्किल होने वाला है।
ये भी पढ़ें - गौतम गभीर ने बताया सुरेश रैना की गैरमौजूदगी में धोनी को किस नंबर पर करनी चाहिए बल्लेबाजी
बता दें कि दक्षिण अफीका के 51 साल के अप्टन 2011 में विश्व विजेता बनने वाली भारतीय टीम के मानसिक अनुकूलन कोच थे। जबकि इसके अलावा वो आईपीएल, बिग बैश लीग और पाकिस्तान सुपर लीग जैसे टूर्नामेंटों में कई टीमों को कोचिंग दे चुके हैं।