15 नवंबर यानि का आज का दिन क्रिकेट फैंस के लिए बेहद खास है क्योंकि आज ही के दिन उनके 'भगवान' मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर पहली बार मैदान पर उतरे थे। सचिन ने 16 साल की उम्र में 15 नवंबर 1989 को पाकिस्तान के खिलाफ टेस्ट क्रिकेट में डेब्यू किया था। कराची में खेले गए इस मुकाबले में सचिन ने पहली पारी में 15 रन बनाए थे। उन्हें वकार यूनिस ने बोल्ड किया था। खास बात ये है कि वकार ने भी उसी मुकाबले में डेब्यू किया था।
पहले मुकाबले में 15 रन बनाने वाले सचिन ने उसी सीरीज के सियालकोट टेस्ट में कुछ ऐसा कारनामा किया जिसके बाद दिग्गज खिलाड़ियों ने सचिन को लंबी रेस का घोड़ा बता दिया था। सियालकोट में खेले गए आखिरी टेस्ट मैच में जब सचिन बल्लेबाजी कर रहे थे, तो वकार यूनिस की गेंद जाकर सचिन के नाक पर लगी। उनका चेहरा लहूलुहान हो गया। वो गिरे मेडिकल स्टॉफ मैदान की दौड़ा पर उन्होंने मदद से इंकार किया।
सचिन की ऐसी हालत देखकर पाकिस्तान के दिग्गज तेज गेंदबाज वसीम अकरम सोच रहे थे कि शायद इतना घायल होने के बाद सचिन क्रीज छोड़कर चले जाएंगे लेकिन ऐसा नहीं हुआ। सचिन ने पट्टी बांधी और अगले ओवर में वकार यूनुस की गेंद पर दो शानदार चौके लगाए। उस मैच में उन्होंने 57 रन की बेहतरीन पारी खेली। महज 16 साल की उम्र में सचिन ने जो हौसला दिखाया उसके आगे वर्ल्ड क्लास पाकिस्तानी गेंदबाज भी पस्त हो गए।
वहीं, यहीं से शुरू हुआ 16 साल के खिलाड़ी का वो सफर जो आगे जाकर क्रिकेट की दुनिया का सबसे महान बल्लेबाज बना। मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर ने 24 साल तक इंटरनेश्नल क्रिकेट को इतने शानदार तरीके से जिया कि क्रिकेट इतिहास का वो हर एक लम्हा अमर हो गया।
आज ही दिन सचिन ने वेस्टइंडीज के खिलाफ अपने आखिरी टेस्ट में भी बल्लेबाजी करते हुए 74 रन बनाए थे। ये सचिन का विदाई टेस्ट था जिससे यादगार बनाने में बीसीसीआई और टीम इंडिया के खिलाड़ियों ने कोई कसर नहीं छोड़ी। मैच के बाद साथी खिलाड़ियों ने सचिन लैप ऑनर दिया। कंधे पर उठाकर वानखेड़े स्ट्डियम का चक्कर लगाया।
आपको बता दें सचिन तेंदुलकर के नाम 200 टेस्ट मैचों में 15921 रन दर्ज हैं। इस दौरान उनके बल्ले से 51 शतक और 68 अर्धशतक भी निकले। वहीं 463 वनडे खेलते हुए सचिन ने 18426 रन बनाए। जिसमें 49 शतक और 96 अर्धशतक शामिल हैं।