भारतीय पूर्व कप्तान सौरव गांगुली की गिनती देश के सर्वश्रेष्ठ कप्तानों में की जाती है। गांगुली ने अपनी कप्तानी में युवाओं से सजी टीम को तैयार किया और उन्हें देश-विदेश में जीतना सिखाया। पाकिस्तान के पूर्व विकेट कीपर राशिद लतीफ का मानना है कि गांगुली को कप्तान के रूप में तैयार करने में मोहम्मद अजहरुद्दीन की अहम भूमिका थी।
गांगुली ने मोहम्मद अजहरुद्दीन की ही कप्तानी में भारतीय वनडे टीम में 1992 और टेस्ट टीम में 1996 में डेब्यू किया था। अजहर की कप्तानी में उन्होंने 12 टेस्ट और 53 वनडे इंटरनैशनल मैच खेले।
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गांगुली की कप्तानी में अहर के अहम योगदान के बारे में बात करते हुए लतीफ ने अपने यूट्यूब चैनल पर कहा "मैं मोहम्मद अजहरुद्दीन की बहुत इज्जत करता हूं। उन्होंने भारतीय क्रिकेट की काफी लंबे समय तक सेवा किया और फिर सौरव गांगुली जैसे कप्तान के लिए विरासत छोड़ी। सौरव गांगुली को कप्तान के रूप में तैयार करने में अजहर की बड़ी भूमिका थी। सचिन तेंदुलकर और राहुल द्रविड़ जैसे महान खिलाड़ी सौरभ गांगुली की कप्तानी में खेले।'
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लतीफ ने इसी के साथ कहा कि जिस तरह अजहर ने गांगुली को तैयार किया उसी तरह गांगुली ने धोनी को भारतीय टीम की कप्तानी के लिए तैयार किया। लतीफ ने इसे भारतीय क्रिकेट टीम की परंपरा भी बताया।
लतीफ ने आगे कहा "मोहम्मद अजहरुद्दीन ने गांगुली को तैयार किया और धोनी ने अजहरुद्दीन और गांगुली की खूबियां लेकर आधुनिक क्रिकेट के अनुसार अपना स्टाइल तैयार किया। उन्हें अपनी टीम के मैच जीतने की खूबी में यकीन था। धोनी ने टीम में जीत की मानसिकता पैदा की।"
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उन्होंने इसी के साथ कहा "धोनी ने तीन आईसीसी के खिताब जीते। कोई दूसरा कप्तान ऐसा नहीं कर पाया है। धोनी जैसे कप्तान रिस्क लेते हैं और अपनी टीम को आगे ले जाते हैं। धोनी ने युवा खिलाड़ियों को बढ़ावा दिया। उसने क्रिकेटरों को अपने चरित्र के हिसाब से ढाला। इस तरह के कप्तान अपने खिलाड़ियों में आत्म-विश्वास भरते हैं।"