साल 2011 में इंडियन प्रीमियर लीग ( आईपीएल ) फ्रेंचाईजी कोलकाता नाईट राइडर्स ( केकेआर ) ने अपनी टीम में गौतम गंभीर को शामिल किया था। जिसके बाद केकेआर की किस्मत पलट गई और वो खिताब जीत की राह में लौट आए। जबकि इससे पहले साल 2008 में आईपीएल के पहले एडिशन में वो 6वें स्थानं पर जबकि उसके बाद 2009 में वो अंतिम स्थान और फिर 2010 में वो 6वें स्थान पर रहे थे।
इस तरह 2011 में गंभीर ने आने के बाद अपनी कप्तानी में केकेआर को दो बार साल 2012 और साल 2014 में खिताब जिताया। जिसमें गंभीर की टीम में सुनील नरेन और रोबिन उथप्पा दो खिलाड़ी मैच विनर बनकर टीम के लिए उभरे थे। ऐसे में केकेआर के सीईओ वेंकी मैसूर गंभीर को आईपीएल के सफल कप्तानो में से एक बताते हुए खुलासा किया कि कैसे केकेआर ने उन्हें टीम में शामिल किया था।
मैसूर ने आरके शो यूट्यूब चैनल पर कहा, "जाहिर सी बात है मैं गौतम गंभीर को खरीदने से पहले नहीं जानता था। यह मेरा पहला ऑक्शन था। हमारे पास कई प्लान थे। जिसमें प्लान ए, प्लान बी और प्लान सी शामिल है। हमने सोचा कि हम काफी तैयार हैं फिर भी नीलामी के दौरान मैं थोडा नर्वस था। उसके बाद नीलामी शुरू हुई और जय व जूही आकर टेबल में हमारे साथ बैठ गए। हलांकि वो किसी भी फैसले पर ज्यादा हस्तक्षेप नहीं कर रहे थे। उनका मानना था कि आप ज्यादा जानते है अपने प्लान के बारे में तो उसी हिसाब से काम करें। हमारे बीच सिर्फ चर्चा होती थी।"
मैसूर ने आगे गंभीर को लेने के बारे में कहा, "2011 आईपीएल नीलामी में पहला नाम गौतम गंभीर का आया। हमारे पास उन्हें खरीदने का बजट था। मेरे अंदर से आवाज आई की इन्हें खरीदना सही रहेगा। इसलिए हमने गंभीर को खरीदने के लिए काफी पैसे लगाए क्योंकि कोच्ची की टीम भी लगातार हमारे साथ बिडिंग कर रही थी।"
बता दें कि गंभीर ने अपनी कप्तानी में केकेआर को दो बार आईपीएल टाइटल जिताया। जबकि साल 2018 में फ्रेंचाईजी का साथ छोड़ने के बाद दिनेश कार्तिक केकेआर की कप्तानी कर रहे हैं। ऐसे में कार्तिक भी अपनी टीम केकेआर को 19 सितंबर से यूएई में खेले जाने वाले आईपीएल के 13वें सीजन में खिताब जिताने के लिए मैदान में उतरेंगे।