टीम इंडिया के पूर्व कप्तान व भारतीय क्रिकेट में 'द वॉल' के नाम से जाने वाले राहुल द्रविड़ आज अपना 47वां जन्मदिन मना रहे हैं। टेस्ट क्रिकेट के असली खेल में द्रविड़ की मानसिकता के सभी कायल थे। उनकी तकनीकी ने क्रिकेट के इस खेल को नया आयाम दिया। बिना ताकत के भी क्रिकेट के मैदान में रन बनाए जा सकते हैं भारतीय क्रिकेट में इसे सीखाने वाले शायद राहुल द्रविड़ ही थे। इस तरह जन्मदिन के ख़ास अवसर पर हम आपको हम उनके ऐसे रिकॉर्ड के रूबरू करवाएंगे जिससे शायद ही सभी वाकिफ हो।
द्रविड़ ने जब अपने टेस्ट करियर की शरुआत की थी उस समय वो एमबीए की पढाई कर रहे थे। साल 1996 में इंग्लैंड के लॉर्ड्स मैदान पर अपना पहला मैच और लगभग आज से 8 साल पहले साल 2012 में ऑस्ट्रेलिया के एडिलेड में राहुल ने अपना अंतिम मैच खेला था। 164 टेस्ट मैचों में 13 हजार से अधिक रन बनाने वाले इस बल्लेबाज की बल्लेबाजी के तो सभी कायल थे। मगर आपको बता दें कि राहुल एक शानदार विकेटकीपर और बाद में स्लिप फील्डर भी थे। स्लिप पर भारत के सबसे शानदार फील्डर में राहुल द्रविड़ का नाम आता है। यही कारण है कि कैच लपकने के मामले में भी राहुल सबसे आगे हैं।
टेस्ट क्रिकेट की बात करें तो वो द्रविड़ ने अपने करियर में 164 टेस्ट मैचों में 210 कैच लपके हैं। अंतिम टेस्ट खेले राहुल को लगभग 8 साल पूरे हो चुके हैं लेकिन अभी तक राहुल द्रविड़ इस रिकॉर्ड के मामले में अव्वल हैं। राहुल से पीछे भी वही खिलाड़ी है जो क्रिकेट खेलना छोड़ चुके हैं। राहुल द्रविड़ के बाद टेस्ट क्रिकेट में जयवर्धने आते हैं। जयवर्धने ने 149 मैचों में 205 कैच लपके हैं। वहीँ तीसरे नंबर पर 200 कैचों के साथ साउथ अफ्रीका के जैक केलिस है।
इतना ही नहीं सभी फोर्मट्स की बात करे तो बतौर फील्डर राहुल द्रविड़ कैच पकड़ने के मामले में चौथे नंबर पर जबकि भारत के पहले खिलाड़ी है। राहुल द्रविड़ ने अपने करियर में सभी प्रारूप को मिलाकर 509 मैच खेले हैं जिसमे द्रविड़ 336 कैचों के साथ चौथे नंबर पर है। इस लिस्ट में पहले नंबर पर 440 कैचों के साथ श्रीलंका के जयवर्धने हैं।
इस तरह शानदार रिकॉर्ड को अपने नाम करने वाले द्रविड़ इन दिनों टीम इंडिया के युवाओं के क्रिकेट को सजाने सवारने में लगे हुए हैं। द्रविड़ की कोचिंग के अंतर्गत ही पृथ्वी शॉ और शुभमन गिल वाली अंडर-19 टीम इंडिया ने आईसीसी विश्वकप 2018 हासिल किया था। क्रिकेट से संन्यास लेने के बाद भी द्रविड़ लगातार भारतीय क्रिकेट को अपना योगदान दे रहे हैं। इस तरह बतौर इंडिया-ए और अंडर-19 टीम इंडिया के कोच के तौर पर उनकी सफलता को देखते हुए पिछले साल राहुल द्रविड़ को राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी (एनसीए) का हेड ऑफ क्रिकेट नियुक्त किया गया था। जिसके बाद से द्रविड़ यहाँ भी अपना कार्य जिम्मेदारी से निभा रहे हैं।