क्रिकेटर से राजनेता बने गौतम गंभीर ने सोमवार को कोरोना वायरस संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए पृथक रहने के सरकार के दिशानिर्देशों का उल्लंघन करने वालों को चेतावनी देते हुए कहा कि ऐसे लोग सुरक्षित रहने या जेल जाने का विकल्प चुन सकते हैं। पूर्वी दिल्ली के इस सांसद ने इसके साथ ही दिल्ली के सरकारी अस्पतालों में कोरोनावायरस के मरीजों के इलाज के लिए अपनी सांसद निधि से 50 लाख रुपये जारी करने की पेशकश की। कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए पूरा भारत लॉकडाउन की तरफ बढ़ रहा है। ज्यादातर लोगों ने घर में रहते हुए रविवार को ‘जनता कर्फ्यू’’ का पालन किया। हालांकि रात के नौ बजे के बाद बड़ी संख्या में लोग घर से बाहर निकल गये।
गंभीर ने ट्वीट किया, ‘‘खुद भी जाएँगे और परिवार को भी ले जाएंगे। क्वारेंटाइन (पृथक) या जेल! पूरे समाज पर खतरा ना बने और घर पर रहें! जंग, नौकरी और व्यापार से नहीं, ज़िंदगी से है! ज़रूरी सेवायें देने वाले परेशान ना हों इसका भी ध्यान रखें! लाकडाउन का पालन करे। जय हिंद।’’
कोरोना वायरस के संक्रमण से दुनियाभर में 15,000 से ज्यादा लोगों की मौत हुई है जबकि भारत के 19 राज्यों ने लाकडाउन की घोषणा की है। दिल्ली में अब तक कोरोना के 30 मामाले सामने आये है। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को लिखे पत्र में गंभीर ने मौजूदा स्थिति से निपटने में सरकार को मदद की पेशकश की।
उन्होंने केजरीवाल को लिखे पत्र में कहा, ‘‘इस महामारी से हमारे शहर और नागरिकों को बचाने के लिए एकजुट प्रयास के क्रम में मैं राज्य सरकार के अस्पतालों में कोविड-19 के उपचार के लिए आवश्यक उपकरणों के लिए अपनी सांसद निधि से 50 लाख रुपये देने का वादा करता हूं।’’
भारतीय क्रिकेट बोर्ड ने भी लोगों से घर में रहने का आह्वान किया है। बीसीसीआई ने कहा, ‘‘अगर आप दुनिया के करोड़ों लोगों के लिए खेलने का सपना देखते है तो यही समय है। यही मौका है।’’