कोरोना वायरस महामारी ने पूरी दुनिया को अपनी चपेट में ले रखा है। इस महामरी की वजह से भारत में 24 मार्च से ही लॉकडाउन लागू जिससे गरीब और मजदूरी करने वाले लोगों का जीवन संकट में पड़ गया है। इस मुश्किल से बचने के लिए लाखों की संख्या में लोग महानगरों से सैंकड़ों और हजारों किलोमीटर दूर अपने घर की ओर पैदल ही लौट रहे हैं। ऐसे में कई लोग भूख और थकान की वजह से रास्ते में ही दम तोड़ रहे है जिनमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं।
इस बीच कोरोना संकट में घर की ओर लौट रहे प्रवासी मजदूरों की मदद के लिए एक भारतीय क्रिकेटर आगे आया है और ये नाम है सफरफराज खान का। पिछले घरेलू सत्र में शानदार प्रदर्शन करने वाले सरफराज खान ने कोरोना वायरस महामारी के कारण देशभर में लागू लॉकडाउन के कारण परेशानी का सामना कर रहे प्रवासी मजदूरों को खाने के पैकेट बांटे।
सरफराज, उनके छोटे भाई मुशीर और पिता सह कोच नौशाद ने उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ स्थित अपने पैतृक गांव प्रवासी मजदूरों को खाने के पैकेट बांटे। घरेलू टूर्नामेंटों में मुंबई का प्रतिनिधित्व करने वाले सरफराज लॉकडाउन के कारण अपने पैतृक गांव में फंस गये है।
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सरफराज ने पीटीआई-भाषा से कहा, ‘‘हम जब बाजार जाते थे तो देखते थे कि बड़ी संख्या में लोग सड़क पर पैदल चलते जा रहे। हमने उनकी मदद करने का फैसला किया। प्रवासी श्रमिकों को मदद करने का विचार मेरे पिता को आया था।’’
नौशाद ने कहा, ‘‘हमने अब तक खाने के लगभग 1000 पैकेट बांटे है। हर पैकेट में एक सेव, एक केला, केक, बिस्कुट और पानी की बोतल है।’’
गौरतलब है कि कोरोना वायरस के कारण घोषित लॉक डाउन के कारण मुंबई के बल्लेबाज सरफराज खान उत्तर प्रदेश स्थित अपने गांव में हैं और परिवार के साथ समय भी बिता रहे हैं। इस साल रणजी ट्रॉफी के सीजन में मुंबई की तरफ से सरफराज ने छह मैचों में एक तिहरे शतक समेत 155 के औसत से 928 रन बनाए थे। सरफराज ने अंडर-19 स्तर पर भारतीय टीम का प्रतिनिधित्व किया है।
(With PTI Inputs)