पाकिस्तान क्रिकेट टीम का हालिया प्रदर्शन कुछ खास नहीं रहा है। यही वजह है कि पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड ने टीम में कप्तानी के रूप में कई बड़े फेरबदल किए। साथ ही पूर्व कप्तान सरफराज अहमद को टीम से बाहर का रास्ता दिखा दिया।
इस बीच लाहौर में पाकिस्तान की नेशनल क्रिकेट एकेडमी (एनसीए) के निवर्तमान प्रमुख मुदस्सर नजर ने देश में क्रिकेट की खस्ता हालत को लेकर बड़ा बयान दिया है। मुदस्सर नजर का कहना है कि संघर्ष कर रहे देश में खेल के विकास के लिए उन्होंने जो लक्ष्य निर्धारित किए थे वह हासिल नहीं कर पाए।
उन्होंने कहा, ‘‘मैं अकादमी में पिछले चार वर्षों में जो विकास कार्य करना चाहता था, वह नहीं कर पाया।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ हाँ, हमने मुल्तान और कराची में दो हाई परफोरमेंस सेंटर का निर्माण किया। मैं हालांकि अन्य शहरों में ऐसे केंद्र स्थापित करना चाहता था। शायद इसका एक कारण बोर्ड की वित्तीय स्थिति सही नहीं होना था। ’’
मुदस्सर को पाकिस्तान के पूर्व कप्तान और मौजूदा प्रधानमंत्री इमरान खान का करीबी माना जाता है । उन्होंने कहा, ‘‘ मैंने कभी भी इमरान के साथ अपने संबंधों का फायदा उठाने की कोशिश नहीं की, न ही भविष्य में कभी ऐसा करूंगा।’’
उन्होंने कहा कि एनसीए में उन्होंने जो काम किया है, उस पर उन्हें गर्व है। मुदस्सर ने कहा, “मुझे एनसीए के प्रमुख के रूप में शुरू किए गए अंडर -13 टेलेंट हंट र और विकास कार्यक्रम पर गर्व है। इसने हमें कुछ बहुत अच्छी प्रतिभाएं दी हैं। ”
उन्होंने कहा कि नसीम शाह, शाहीन शाह अफरीदी और मुहम्मद हसनैन जैसे युवाओं को अकादमी से लाभ मिला है। उन्होंने कहा, "मुझे मुहम्मद मूसा, रोहेल नजीर और हैदर अली जैसे अन्य युवाओं देखकर भी गर्व होता है और जब ये लोग पाकिस्तान के लिए खेलेंगे तो और भी ज्यादा खुशी होगी।"
80 के दशक में इमरान खान की अगुवाई वाली पाकिस्तानी टीम के प्रमुख सदस्य मुदस्सर ने अपने देश के लिए 76 टेस्ट और 122 वनडे मैच खेले हैं। पूर्व ऑलराउंडर ने कहा कि हर बार अपने प्रदर्शन के लिए एनसीए को निशाना बनाना गलत है।
मुदस्सर ने कहा, “मुझे हमेशा आश्चर्य हुआ कि जब भी बोर्ड ने एनसीए की आलोचना की। जो कुछ भी हो रहा है, उसके सही तथ्यों को जाने बिना बाहर बैठे किसी व्यक्ति की आलोचना करना आसान है।"
(With PTI inputs)