इन दिनों चाइनामैन कुलदीप यादव और स्पिनर युज़वेंद्र चहल की टीम इंडिया में तूती बोल रही है. चारों तरफ दोनों की इतनी प्रशंसा हो रही है कि लोग कभी टीम इंडिया के स्टार सप्नर रहे रविचंद्रन अश्विन को भूलने लगे हैं. इन दोनों स्पिनरों का प्रदर्सन ऐसा रहा है कि अश्विन के साथ-साथ रविंद्र जडेजा की भी कुर्सी हिलने लगी है. अश्विन को ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ वनडे और टी-20 सिरीज़ में टीम में नहीं रखा गया है. लेकिन 31 साल के ऑफ स्पिनर को जल्द ही वनडे और टी-20 टीम में वापसी की पूरी उम्मीद है हालंकि उनका ये भी कहना है कि वापसी आसान नहीं होगी.
अश्विन ने एक प्रमुख अंग्रेज़ी दैनिक के साथ बातचीत में कहा कि चयनकर्ताओं द्वारा नजरअंदाज़ किए जाने से वह निराश नहीं हैं. उनका कहना है कि एक दिन अवसर उनके दरवाज़े पर ख़ुद दस्तक देगा क्योंकि उन्होंने ज्यादा ग़लतियां नहीं की हैं. उन्होंने कहा, ''मैं दोबारा अपनी लय पाने की भरपूर कोशिश करूंगा.' हालांकि वापसी आसान नहीं होगी.''
ग़ौरतलब है कि मुख्य चयनकर्ता एमएसके प्रसाद कह चुके हैं कि युजवेंद्र चहल और अक्षर पटेल को श्रीलंका में अच्छे प्रदर्शन की वजह से ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ सिरीज़ में भी मौक़ा दिया है.
अश्विन चैंपियंस ट्रॉफी के दौरान तीन मैचों में सिर्फ एक विकेट ही ले पाए थे. उनकी गेंदबाजी औसत भी 5.75 की रही. फाइनल में पाकिस्तान के खिलाफ अश्विन-रवींद्र जेडजा की फिरकी नहीं चली थी. दोनों ने 18 ओवरों में 137 रन दिए और उन्हें एक भी विकेट नहीं मिला था.
इस बीच अश्विन वॉर्सेस्टरशायर के लिए काउंटी क्रिकेट में खेलने चले गए. बताया गया कि अगले साल भारत के इंग्लैंड दौरे से पहले चयनकर्ता अश्विन को वहां की परिस्थितियों से अच्छी तरह वाकिफ करवाना चाहते हैं. भारतीय टीम 2018 में इंग्लैंड दौरे के दौरान (जुलाई-सितंबर 2018) 3 टी-20, 3 वनडे, 5 टेस्ट खेलेगी.
इन दिनों अश्विन रणजी सत्र-2017-18 में भाग ले रहे हैं. तमिलनाडु की ओर से खेलते हुए अश्विन ने आंध्र प्रदेश की पहली पारी में 4 विकेट लिये. चेन्नई में ही इसके बाद तमिलनाडु के त्रिपुरा के खिलाफ मैच (14-17 अक्टूबर) में भी अश्विन उपलब्ध रहेंगे.