भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के 39वें अध्यक्ष बनने के बाद पहली बार सौरव गांगुली प्रेस वार्ता में नजर आए। बीसीसीआई की तरफ से आज सुबह ही टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली को बीसीसीआई का अध्यक्ष चुना गया। ऐसे में अध्यक्ष चुनने के बाद पूर्व कप्तान रहे सौरव गांगुली ने अपनी कप्तानी वाले अंदाज में ही बीसीसीआई को आगे बढाने की बात कही।
बीसीसीआई को आगे ले जाने की अपनी नीति के बारे में सौरव ने कहा, "विश्वसनीयता पर कोई समझौता नहीं, भ्रष्टाचार से स्वतंत्र, इसी अंदाज से मैं टीम इंडिया की कप्तानी करता था। अब ठीक उसी तरह से बीसीसीआई का नेतृत्व करूंगा।"
इतना ही नहीं टेस्ट क्रिकेट के बारे में आगे गांगुली ने कहा, "हमें टेस्ट क्रिकेट को फिर से जिन्दा करना होगा और जो भी संभव प्रयास होगा इसे बढ़ावा देने का किया जायेगा।"
वहीं भारतीय क्रिकेट के भविष्य के बारे में गांगुली ने कहा, " मुझे नहीं पता सीओए, रवि शास्त्री और विराट कोहली के बीच क्या बातचीत होती थी। ये एक नयी शुरुआत है। भारतीय क्रिकेट के भविष्य में सिर्फ खिलाड़ी का प्रदर्शन की उसके चयन की कुंजी होगी। हम यहाँ चीजों को आसन करने के लिए आएं हैं ना की उन्हें कठिन बनाने। जैसा की मैंने पहले भी कहा कि कोहली बहुत महत्वपूर्ण कड़ी है। वो जैसा कहेंगे उसे सुना जाएगा। हम उन्हें पूरी तरह से समर्थन करेंगे। मैं खुद भारतीय टीम का कप्तान रहा हूँ तो मैं कोहली के बारे में अच्छे से समझ सकता हूँ। हमारे बीच विचार विमर्श होगा और वही होगा जो भारतीय क्रिकेट के लिए बेहतर होगा।"
बता दें कि गांगुली का कार्यकाल 10 महीने का होगा। करीब 30 महीने के लंबे अंतराल के बाद बीसीसीआई को अध्यक्ष मिला। भारत का प्रतिनिधित्व करने वाले सबसे कलात्मक, बाएं हाथ के बल्लेबाजों में से एक गांगुली से उम्मीद की जा रही है कि वह बंगाल क्रिकेट संघ के सचिव और फिर अध्यक्ष के अपने पद से मिले अनुभव का पूरा फायदा उठाएंगे। उन्होंने कुछ लक्ष्य निर्धारित किए हैं जिसमें से एक प्रथम श्रेणी क्रिकेट के ढांचे का पुनर्गठन, प्रशासन को सही ढर्रे पर लाना और अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद में भारत को उसकी मजबूत स्थिति फिर लौटाना है।