क्रिकेट को 'द जैंटेलमेन गेम' कहा जाता है लेकिन इस शब्द की परिभाषा शायद ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी भूल चुके हैं। जिसके चलते उन्हें अक्सर मैदान से बाहर उनके बर्ताव के लिए दंडित किया जाता है। जिस कड़ी में सबसे पहले एंड्रयू साइमंडस ऐसे खिलाड़ी थे हिन्हे कानून तोड़ने के बाद सदा-सदा के लिए टीम से मुक्ति दे दी गई थी। ऐसे में अब एक और धाकड़ खिलाड़ी का नाम इस लिस्ट में जुड़ता नजर आ रहा है।
जी हाँ 2015 क्रिकेट विश्व कप विजेता टीम के सदस्य ऑस्ट्रेलियाई हरफनमौला खिलाड़ी मिशेल मार्श गुस्से में आपा खो बैठे। मिचेल ने घरेलू क्रिकेट मैच के दौरान ड्रेसिंग रूम में अपना गुस्सा इस हद तक जाहिर किया कि उन पर बैन भी लग सकता है।
दरअसल रविवार को शेफील्ड शील्ड मैच के दौरान मार्श अपने आउट होने के तरीके से इतने खफा हुए कि उन्होंने ड्रेसिंग रूम की दीवार पर जोर से पंच दे मारा, जिससे उनके दाहिने हाथ पर काफी चोट आई। चोट इतनी गंभीर थी कि उन्हें मैच से बाहर होना पड़ा। वेस्टर्न ऑस्ट्रेलिया की कप्तानी कर रहे मार्श तस्मानिया के खिलाफ चौथे दिन के पहले ही ओवर में आउट हो गए, उन्हें जैकसन बर्ड ने 53 रन के स्कोर पर चलता किया।
जिसके बाद वेस्टर्न ऑस्ट्रेलिया क्रिकेट एसोसिएशन की ओर से जारी बयान में कहा गया, "ड्रेसिंग रूम की दीवार पर पंच मारने की वजह से मार्श को काफी चोट आई। वे कब तक फिट होंगे इस बारे में अगले सप्ताह जांच के बाद ही पता चल पाएगा।"
हालांकि वेस्टर्न ऑस्ट्रेलिया के कोच एडम वोग्स ने मिचेल मार्श के इस बर्ताव पर अपनी कड़ी प्रतिक्रिया जाहिर की है। उनका मानना था की ये कप्तान के रूप में मिशेल की कड़ी परीक्षा थी जिसमें उन्होंने अपने बेढंग रवैये से सबको निराश किया है। इतना ही नहीं उन्होंने आगे कहा कि इस तरह का व्यवहार उन्हें हमेशा के लिए ऑस्ट्रेलिया टीम से बाहर का रास्ता दिखा सकता है।