विश्व आर्थिक परिदृश्य में आईएमएफ ने कहा कि लेटेस्ट आर्थिक सर्वेक्षण के मुताबिक, वित्त वर्ष 2024-25 में जीडीपी वृद्धि 2023-24 में 8.2 प्रतिशत से घटकर 6.5 से 7 प्रतिशत रहने की उम्मीद है।
सितंबर तिमाही में 62.1 प्रतिशत कंपनियों को उम्मीद थी कि अगले छह महीनों में समग्र आर्थिक स्थिति सुधरेगी। जबकि 58 प्रतिशत कंपनियों को इसी अवधि में अपनी वित्तीय स्थिति में सुधार होने की उम्मीद थी।
यह एक बड़ा कदम होगा और यह एक तरह से चुनौती भी है। उन्होंने कहा कि इसके लिए, ब्रांड इंडिया की धारणा को बदलना होगा और यह धारणा सिर्फ क्वालिटी पर मानसिकता बदलने के साथ ही बदल सकती है।
भारत सरकार देश में शिपबिल्डिंग और शिप रिपेयर क्लस्टर स्थापित करने के लिए जापानी और कोरियाई शिपयार्ड से निवेश और टेक्नोलॉजी ट्रांसफर को प्रोत्साहित कर रही है।
पूरे भारत में मैनुफैक्चरिंग क्षेत्र की वृद्धि में मामूली गिरावट आई है। कारखाना उत्पादन और बिक्री में वृद्धि की दर में लगातार तीसरे महीने कमी आई है।
एसएंडपी ने कहा कि हम उम्मीद करते हैं कि आरबीआई जल्द से जल्द अक्टूबर में दरों में कटौती शुरू कर देगा और चालू वित्त वर्ष (मार्च 2025 में समाप्त होने वाले) में दो बार दरों में कटौती की योजना बनाएगा।
एसएंडपी ग्लोबल की रिपोर्ट में कहा गया है कि मजबूत वृद्धि संभावनाओं और बेहतर रेगुलेशन के कारण शेयर बाजारों के गतिशील और प्रतिस्पर्धी बने रहने का अनुमान है। भारत के प्रमुख उभरते मार्केट इंडेक्स में शामिल होने के बाद से भारत सरकार के बॉन्ड में विदेशी निवेश में बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
विश्व बैंक ने कहा कि दक्षिण एशिया क्षेत्र के बड़े हिस्से के लिए जिम्मेदार भारत की वृद्धि दर वित्त वर्ष 2024-25 में 7 प्रतिशत पर मजबूत रहने की उम्मीद है। सेवाएं मजबूत बनी रहेंगी। कृषि में अपेक्षित सुधार के कारण ग्रामीण निजी खपत में सुधार होगा।
भारत सबसे तेजी से बढ़ने वाली प्रमुख अर्थव्यवस्था बना हुआ है, क्योंकि अप्रैल-जून तिमाही में चीन की जीडीपी वृद्धि 4.7 प्रतिशत रही।
मई 2024 में देश के पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय ने जानकारी दी थी कि मात्रात्मक रूप से, पूरे देश में दक्षिण पश्चिम मानसून मौसमी वर्षा ±4 प्रतिशत की मॉडल त्रुटि के साथ लंबी अवधि के औसत (एलपीए) का 106 प्रतिशत होने की संभावना है।
बुलेटिन के मुताबिक, आने वाले प्रोजेक्ट्स की फंडिंग की चरणबद्ध रूपरेखा से पता चलता है कि इनके लिए अनुमानित पूंजीगत व्यय 2023-24 के 1.59 लाख करोड़ रुपये से बढ़कर 2024-25 में 2.45 लाख करोड़ रुपये हो जाएगा।
बांग्लादेश में आर्थिक संकट बढ़ा है। रोजमर्रा की चीजों के दाम भी बढ़े हैं। ऐसे में अब जनता को राहत देने के मकसद से अंतरिम सरकार ने अर्थव्यवस्था पर खास ध्यान देने की बात कही है।
इजरायल के कब्जे वाले गोलान हाइट्स में एक घातक रॉकेट हमले ने इस बात की चिंता बढ़ा दी है कि इजरायल और ईरान समर्थित लेबनानी समूह हिजबुल्लाह एक पूर्ण युद्ध में शामिल हो सकते हैं।
सीएम योगी ने कहा कि उत्तर प्रदेश अनंत संभावना का प्रदेश है। उत्तर प्रदेश का सकल राज्य घरेलू उत्पाद वर्ष 2023-24 में 25.48 लाख करोड़ रुपए रहा है, जो वर्ष 2022-23 में 22.58 लाख करोड़ रुपए था।
एनसीएईआर ने कहा है कि खाद्य कीमतों पर काबू पाना एक चुनौती है। इस समस्या से निपटने के लिए एक व्यापक नीतिगत ढांचे की जरूरत हो सकती है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने चालू वित्त वर्ष के लिए जीडीपी वृद्धि दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था।
रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत में पानी की कमी बढ़ती जा रही है, क्योंकि तेज आर्थिक वृद्धि और जलवायु परिवर्तन के दुष्प्रभावों के कारण लगातार बढ़ती प्राकृतिक आपदाओं के बीच पानी की खपत बढ़ रही है।
पाकिस्तान गंभीर आर्थिक संकट का सामना कर रहा है। पाकिस्तान ने आगामी वित्त वर्ष 2024-25 के लिए भी कम से कम 23 अरब डॉलर उधार लेने की योजना बनाई है। जानें सरकार ने संसद में क्या कहा है।
पाकिस्तान आर्थिक तौर पर पूरी तरह से कंगाल नजर आ रहा है। बिना कर्ज के उसकी कोई योजना परवान चढ़ती ही नहीं है। अब पाकिस्ताीन अमेरिका से भारी भरकम कर्ज लेने की प्लानिंग कर रहा है।
अर्थशास्त्रियों ने कहा कि इस बात की संभावना है कि नरेन्द्र मोदी तीसरे कार्यकाल के लिए प्रधानमंत्री के रूप में वापस आएंगे। हालांकि उन्हें शासन में बदली हुई परिस्थितियों का सामना करना पड़ेगा।
पाकिस्तान अपनी आर्थिक हालत को सुधारने के लिए नया कर्ज लेने जा रहा है। पीएम शहबाज शरीफ ने इसे लेकर आईएमएफ की प्रमुख क्रिस्टालिना जॉर्जीवा से मुलाकात की है।
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