Nag Panchami 2023: हिंदू धर्म में नाग पंचमी का त्यौहार काफी महत्वपूर्ण रखता है। दरअसल, नाग देवता भगवान शिव के काफी प्रिय माने जाते हैं। ऐसे में नाग पंचमी के दिन विधि विधान के साथ पूजा करने से नाग देवता के साथ शिवजी की भी कृपा प्राप्त होती है। वहीं जिनकी कुंडली में काल सर्प दोष है वे नाग पंचमी के दिन अपने दोष का निवारण कर सकते हैं। इस साल 21 अगस्त 2023 को नाग पंचमी मनाई जाएगी। नाग पंचमी को कई जगह गुड़िया का पर्व भी कहा जाता है। वहीं आज हम आपको बताएंगे कि नाग पंचमी से पहले अगर सपने में सांप नजर आता है तो यह किस बात का संकेत होता है।
नाग पंचमी से पहले सपने में सांप का नजर आना
स्वप्न शास्त्र के अनुसार, नागपंचमी से पहले सपने में सांप देखना जीवन में परेशानियों का संकेत है। अगर आप सपने में काले रंग का सांप देखते हैं तो इसका मतलब है कि आपको धन हानि हो सकती है या आप किसी बीमारी से पीड़ित हो सकते हैं। अगर आप सपने में सांप को मारते हुए देखते हैं तो ऐसा सपना शुभ होता है।
अगर आप सावन के महीने में ऐसा सपना देखते हैं, जिसमें सांप ने फन उठाया हो तो यह सपना बहुत अच्छा माना जाता है। ऐसे सपने का मतलब है कि आप पर भोलेनाथ की कृपा है और आपको जल्द ही कहीं से संपत्ति का लाभ मिल सकता है। ज्योतिषाचार्य चिराग बेजान दारूवाला के अनुसार सपने में सफेद रंग का सांप देखना शुभ माना जाता है। कहा जाता है कि सफेद रंग का सांप दिखना इस बात का संकेत है कि आपको जल्द ही मान-सम्मान का लाभ मिलने वाला है। यह सपना बताता है कि आपको नौकरी और बिजनेस में बड़ी तरक्की मिलने वाली है।
नाग पंचमी 2023
नाग पंचमी के दिन नाग देवता की मूर्ति पर तांबे के लोटे से दूध और जल चढ़ाना चाहिए। इसके अलावा यदि संभव हो तो मंदिर में नाग-नागिन का जोड़ा रखकर उनकी पूजा और अभिषेक भी किया जा सकता है। यदि यह संभव न हो तो मिट्टी के नाग-नागिन के जोड़े की भी पूजा की जा सकती है। माना जाता है कि ऐसा करने से भगवान शिव और नाग देवता दोनों प्रसन्न होते हैं।
(ज्योतिषी चिराग दारूवाला विशेषज्ञ ज्योतिषी बेजान दारूवाला के पुत्र हैं। उन्हें प्रेम, वित्त, करियर, स्वास्थ्य और व्यवसाय पर विस्तृत ज्योतिषीय भविष्यवाणियों के लिए जाना जाता है।)
ये भी पढ़ें-
Ekadashi Vrat August 2023: अगस्त में एकादशी व्रत की तिथियां कौनसी हैं? जानिए डेट, मुहूर्त और महत्व
Teej 2023: हरियाली तीज और हरतालिका तीज दोनों व्रत में क्या है अंतर, जानें पूजा नियम और महत्व