Jyotirlinga And Shivling: हर शिव भक्त अपने जीवन काल में एक बार 12 ज्योतिर्लिंग के दर्शन की चाह जरूर रखता है। हिंदू धर्म में ज्योतिर्लिंग के दर्शन और पूजा का विशेष महत्व बताया गया है। कहते हैं कि ज्योतिर्लिंग के दर्शन करने से व्यक्ति के जीवन के सभी दुख-तकलीफ दूर हो जाते हैं। इसके अलावा प्रतिदिन या सोमवार के दिन शिवलिंग की आराधना करने से मनोकामनाओं की पूर्ति होती है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, रोजाना शिवलिंग पर जल अर्पित करने से महादेव प्रसन्न होते हैं और भक्तों की हर इच्छा पूर्ण करते हैं। यहां आपको बता दें कि शिवलिंग और ज्योतिर्लिंग दोनों में अंतर होता है। अधिकत्तर लोगों शिवलिंग और ज्योतिर्लिंग को एक ही समझते हैं लेकिन दोनों का अर्थ अलग-अलग है। तो आइए जानते हैं शिवलिंग और ज्योतिर्लिंग के बीच अंतर के बारे में।
ज्योतिर्लिंग और शिवलिंग में क्या अंतर है?
शिव पुराण के अनुसार, भगवान शिव जहां-जहां प्रकाश यानी ज्योति के रूप में प्रकट हुए उसे ज्योतिर्लिंग कहा जाता है। बता दें कि कुल 12 ज्योतिर्लिंग हैं। ये ज्योतिर्लिंग देश के अलग-अलग हिस्सों में स्थित है। मान्यताओं के अनुसार, 12 ज्योतिर्लिंगों के दर्शन करने से महादेव की विशेष कृपा प्राप्त होती है।
वहीं शिवलिंग उसे कहते हैं जिसे मनुष्यों द्वारा बनाया गया है या खुद प्रकट हुए हैं। शिव पुराण के मुताबिक, शिवलिंग का अर्थ अनंत होता है, जिसका कोई अंत नहीं है। भगवान शिव के प्रतीक के रूप में शिवलिंग का निर्माण भक्तों ने पूजा-पाठ और प्राण प्रतिष्ठा कर घर में स्थापित करने के लिए किया है। शिवलिंग की पूजा करने से घर में सुख-समृद्धि बनी रहती है और पूरे परिवार पर भोले शंकर का आशीर्वाद बना रहता है।
12 ज्योतिर्लिंग के नाम और कहां स्थित है?
- सोमनाथ ज्योतिर्लिंग- गुजरात (गिर सोमनाथ)
- मल्लिकार्जुन ज्योतिर्लिंग- आंध्र प्रदेश (श्रीशैलम)
- महाकालेश्वर ज्योतिर्लिंग- मध्य प्रदेश (उज्जैन)
- ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग- मध्य प्रदेश (खंडवा
- बैद्यनाथ ज्योतिर्लिंग- झारखंड (देवघर)
- भीमाशंकर ज्योतिर्लिंग- महाराष्ट्र
- रामेश्वरम ज्योतिर्लिंग- तमिलनाडु (रामेश्वरम)
- नागेश्वर ज्योतिर्लिंग- गुजरात (द्वारका)
- काशी विश्वनाथ ज्योतिर्लिंग- उत्तर प्रदेश (वाराणसी)
- त्र्यंबकेश्वर ज्योतिर्लिंग- महाराष्ट्र (नासिक)
- केदारनाथ ज्योतिर्लिंग- उत्तराखंड (रुद्रप्रयाग)
- घृष्णेश्वर ज्योतिर्लिंग- महाराष्ट्र (औरंगाबाद)
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं। इसका कोई भी वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है। इंडिया टीवी एक भी बात की सत्यता का प्रमाण नहीं देता है।)
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