Chaitra Month 2023 Vrat Festival List: चैत्र का महीना 8 मार्च 2023 से शुरू हो रहा है जिसका समापन 6 अप्रैल 2023 होगा। हिंदू पंचांग के अनुसार फाल्गुन साल का आखिरी महीना और चैत्र पहला महीना होता है। हिंदू धर्म में चैत्र महीने का काफी महत्व है। चैत्र महीने में नवरात्रि, रामनवमी, हनुमान जयंती सहित कई बड़े व्रत-त्योहार पड़ रहे हैं। यहां देखें पूरी लिस्ट।
8 मार्च को चैत्र कृष्ण पक्ष की प्रतिपदा तिथि और बुधवार का दिन है। प्रतिपदा तिथि 8 मार्च की शाम 7 बजकर 42 मिनट तक रहेगी। उसके बाद द्वितीया तिथि लग जाएगी। साथ ही 8 मार्च का पूरा दिन पार कर भोर 4 बजकर 20 मिनट तक उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र रहेगा। आचार्य इंदु प्रकाश के अनुसार, नक्षत्रों की श्रेणी में उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र बारहवां नक्षत्र है। इस नक्षत्र के स्वामी सूर्यदेव हैं। उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र का पहला चरण सिंह राशि में आता है, जबकि इसके बाकी तीन चरण कन्या राशि में आते हैं। साथ ही पाकड़ के पेड़ से भी इसका संबंध बताया गया है यानि पेड़ पौधों में उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र का संबंध पाकड़ के पेड़ से है। लिहाजा जिन लोगों का जन्म उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र में हुआ हो, उन लोगों को आज के दिन उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र के दौरान पकड़ के पेड़ को प्रणाम करना चाहिए। ऐसा करने से आपको शुभ फलों की प्राप्ति होगी। साथ ही घर में सुख-सौभाग्य बना रहेगा। आइए आचार्य इंदु प्रकाश से जानते हैं चैत्र महीने में पड़ने वाले मुख्य त्योहारों के बारे में।
चैत्र महीने में पड़ने वाले मुख्य त्योहारों की लिस्ट -
- चैत्र कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि यानि कि 11 मार्च को संकष्टी श्री गणेश चतुर्थी का व्रत किया जायेगा। इस दिन व्रत कर भगवान गणेश की उपासना करने से जीवन में चल रही समस्त समस्याओं से छुटकारा मिलता है।
- चैत्र कृष्ण पक्ष की पंचमी तिथि यानि 12 मार्च को रंग पंचमी मनायी जाएगी। कहते हैं इस दिन वायुमंडल में रंग उड़ाने से या शरीर पर रंग लगाने से व्यक्ति के अंदर सकारात्मक शक्तियों का संचार होता है और आस-पास मौजूद नकारात्मक शक्तियां क्षीण हो जाती हैं। साथ ही 12 मार्च को ही शुक्र सुबह 8 बजकर 28 मिनट पर मेष राशि में प्रवेश करेंगे।
- 13 मार्च को सुबह 5 बजकर 2 मिनट पर मंगल मिथुन राशि में प्रवेश करेंगे। मंगल के मिथुन राशि में प्रवेश से अलग-अलग राशियों पर क्या प्रभाव पड़ेगा।
- चैत्र कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि यानि 15 मार्च को श्रीशीतला अष्टमी का व्रत व्रत किया जायेगा। इस दिन देवी मां की विधि-पूर्वक पूजा करके उन्हें बांसी भोजन का भोग लगाने की परंपरा है। साथ ही खुद भी प्रसाद के रूप में बांसी भोजन का सेवन करना चाहिए। इस दिन ऐसा करने से व्यक्ति हष्ट-पुष्ट बना रहता है, उसे किसी तरह की स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्याओं का सामना नहीं करना पड़ता है। 15 मार्च को ही सुबह 6 बजकर 34 मिनट पर सूर्य मीन राशि में प्रवेश करेंगे।
- 16 मार्च की सुबह 10 बजकर 48 मिनट पर बुध मीन राशि में प्रवेश करेंगे।
- चैत्र कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि यानि कि 18 मार्च को पापमोचिनी एकादशी का व्रत किया जायेगा। इस दिन व्रत कर भगवान विष्णु की उपासना करने से जीवन में सुख-सौभाग्य की बढ़ोतरी होती है।
- चैत्र कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि यानि 19 मार्च को रवि प्रदोष व्रत किया जायेगा। सुख, शांति और लंबी आयु की प्राप्ति के लिए जातक को रवि प्रदोष व्रतजरुर करना चाहिए। साथ ही 19 मार्च की दोपहर पहले 11 बजकर 11 मिनट से पंचक प्रारंभ हो जायेंगे और 23 मार्च की दोपहर 2 बजकर 8 मिनट पर समाप्त होंगे। पंचक के दौरान घर में लकड़ी का काम करना, घर की छत बनवाना अच्छा नहीं माना जाता है।
- चैत्र कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि यानि 20 मार्च को मास शिवरात्रि का व्रत किया जायेगा। इसके आलावा 21 मार्च को स्नान-दान की भौमवती अमावस्या मनायी जाएगी। 21 मार्च 2023 - चैत्र अमावस्या
- 22 मार्च 2023 - चैत्र नवरात्रि, हिंदू नववर्ष शुरू, गुड़ी पड़वा
- 23 मार्च 2023 - चेटी चंड
- 24 मार्च 2023 - गौरी पूजा, मत्स्य जयंती, गणगौर
- 26 मार्च 2023 - स्कंद षष्ठी
- 27 मार्च 2023 - रोहिणी व्रत
- 29 मार्च 2023 - नवरात्रि दुर्गा अष्टमी
- 30 मार्च 2023 - राम नवमी
- 31 मार्च 2023 - चैत्र नवरात्रि समाप्त
- 1 अप्रैल 2023 - कामदा एकादशी
- 2 अप्रैल 2023 - वामन द्वादशी
- 3 अप्रैल 2023 - प्रदोष व्रत (शुक्ल)
- 5 अप्रैल 2023 - चैत्र पूर्णिमा
- 6 अप्रैल 2023 - हनुमान जयंती
जानिए शुक्ल पक्ष में पड़ने वाले त्योहारों के बारे में
- चैत्र शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि यानि की 22 मार्च से चैत्र नवरात्रि प्रारंभ हो रही है और 30 मार्च तक चलेंगी। इसमें प्रत्येक दिन माता के अलग-अलग स्वरूपों की पूजा की जाती। इस पर विस्तृत चर्चा हम नवरात्रि के दौरान ही करेंगे।
- 23 मार्च को झूलेलाल जयंती मनायी जाएगी। वहीं 24 मार्च को गणगौर व्रत और मत्स्य जयंती मनायी जाएगी।
- चैत्र शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि यानि की 25 मार्च को वैनायकी श्री गणेश चतुर्थी का व्रत किया जायेगा। इस दिन व्रत रख भगवान गणेश की उपासना करने से जीवन में सुख समृद्धि आती है।
- चैत्र शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि यानि 30 मार्च को श्रीराम नवमी साथ ही दुर्गा नवमी का व्रत किया जायेगा।
(आचार्य इंदु प्रकाश देश के जाने-माने ज्योतिषी हैं, जिन्हें वास्तु, सामुद्रिक शास्त्र और ज्योतिष शास्त्र का लंबा अनुभव है। इंडिया टीवी पर आप इन्हें हर सुबह 7.30 बजे भविष्यवाणी में देखते हैं)
ये भी पढ़ें -
March 2023 Vrat-Festival: होली, प्रदोष व्रत, चैत्र नवरात्रि सहित मार्च माह में पड़ रहे हैं कई व्रत-त्योहार, यहां देखें पूरी लिस्ट
जिसने भी इस एक चीज़ से किया समझौता, वो जीवन में कभी सिर उठाकर नहीं चल पाएगा, जानिए क्या कहती है चाणक्य नीति
वास्तु टिप्स: होटल में भंडार घर और डाइनिंग हॉल की गलत दिशा आपको बना देगा कंगाल!