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Basant Panchami 2023: सरस्वती पूजा की तारीख, मुहूर्त, मंत्र और महत्व, ये भी जानिए कैसे करनी है पूजा

Basant Panchami 2022: बसंत पंचमी का पर्व हर साल माघ महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाई जाती है। इस दिन मां सरस्वती की पूजा का विशेष महत्व है। जो भी व्यक्ति जीवन में कामयाब होना चाहता है वो बसंत पंचमी के दिन देवी सरस्वती की विधिवत् पूजा जरूर करें।

Written By: Vineeta Mandal
Updated on: January 04, 2023 17:08 IST
Basant Panchami 2023- India TV Hindi
Image Source : FREEPIK Basant Panchami 2023

Basant Panchami Saraswati Puja 2023: इस साल 26 जनवरी, 2023 को बसंत पंचमी का पर्व मनाया जाएगा। इस दिन विद्या की देवी सरस्वती की पूजा-अर्चना की जाती है। हिंदू धर्म में बसंच पंचमी का विशेष महत्व है। मान्यता है कि जो भी छात्र पंचमी के दिन मां शारदा की विधिवत् उपासना करता है, उसके ज्ञान में वृद्धि होती है। साथ ही जीवन में उसे अपार सफलता मिलती है। वीणा वादिनी सरस्वती बुद्धि, विद्या और ज्ञान की देव कहलाती हैं। ऐसे में जिन बच्चों को मन पढ़ाई में बिल्कुल नहीं लगता है वे बसंत पंचमी के दिन माता सरस्वती की पूजा जरूर करें।

आपको बता दें कि हर साल माघ महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को बसंत पंचमी मनाई जाती है। बसंत पंचमी को सरस्वती पूजा, श्री पंचमी, मधुमास और ज्ञान पंचमी के नाम से जाना जाता है। बसंत पंचमी के दिन से ही सर्दियां समाप्त हो जाती हैं और बसंत ऋतु की शुरुआत होती है। बसंत ऋतु को काफी सुहावना मौसम माना जाता है। 

बसंत पंचमी शुभ मुहूर्त

  • पंचमी तिथि यानी बसंत पंचमी प्रारंभ- दोपहर 12 बजकर 35 मिनट  (25 जनवरी,2023 )
  • बसंत पंचमी समापन-  सुबह 10 बजकर 29 मिनट तक रहेगी। ( 26 जनवरी, 2023)

बसंत पंचमी के दिन मां सरस्वती की ऐसे करें पूजा

  1. सरस्वती पूजा के प्रात:काल उठकर स्नान कर लें और साफ वस्त्र धारण करें।
  2. संभव हो तो बसंत पंचमी के दिन पीला या सफेद रंग के कपड़े पहनें।
  3. पूजा घर या मंदिर को गंगा जल से शुद्ध कर करें।
  4. पूजा की चौकी पर पीला वस्त्र बिछाकर उस पर मां सरस्वती की मूर्ति या तस्वीर स्थापित करें।
  5. मां सरस्वती की मूर्ती पर चंदन का तिलक लगाकर केसर, रोली, हल्दी, चावल, फल और पीले फूल अर्पित करें।
  6. देवी शारदा को बूंदी या बूंदी के लड्डू, मिश्री, दही और हलवा का भोग लगाएं
  7. माता सरस्वती के चरणों में छात्र कलम, कॉपी और पुस्तक रख दें और पूजा के दूसरे दिन ही वहां से हटाएं।
  8. मां सरस्वती की आरती करें।
  9. सरस्वती मंत्रों का जाप करें।

बसंत पंचमी के दिन सरस्वती मंत्र का करें जाप

1. या देवी सर्वभूतेषु विद्या रूपेण संस्थिता।

 नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः।।

2. ॐ ऐं सरस्वत्यै नमः।

3. या कुन्देन्दुतुषारहारधवला या शुभ्रवस्त्रावृता
या वीणावरदण्डमण्डितकरा या श्वेतपद्मासना।
या ब्रह्माच्युतशंकरप्रभृतिभिर्देवैः सदा वन्दिता
सा मां पातु सरस्वती भगवती निःशेषजाड्यापहा ॥

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। INDIA TV इसकी पुष्टि नहीं करता है।)

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