जयपुर: राजस्थान प्रदेश कांग्रेस के नए अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने यहां कहा है कि वे अपनी इस नई जिम्मेदारी को पूरी ईमानदारी से निभाने की कोशिश करेंगे। कांग्रेस पार्टी ने अशोक गहलोत सरकार के प्रति बगावत पर उतरे सचिन पायलट को हटाकर मंगलवार को डोटासरा को यह जिम्मेदारी सौंपी। डोटासरा ने ट्वीट कर इसके लिए पार्टी आलाकमान का आभार जताते हुए लिखा, “मेरे सभी साथी विधायकों और कांग्रेस के प्रत्येक कार्यकर्ता का हृदय से आभार और धन्यवाद। इस ज़िम्मेदारी को भी मैं पूरी ईमानदारी और मेहनत से निभाने की कोशिश करूंगा।”
उन्होंने कहा है कि कांग्रेस पार्टी ने उन जैसे एक छोटे से कार्यकर्ता को प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जैसी महत्वपूर्ण ज़िम्मेदारी दी है और वह इसके लिए कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी सहित अन्य वरिष्ठ नेताओं के आभारी हैं। उल्लेखनीय है कि डोटासरा जमीनी स्तर से राजनीति में आगे बढ़े हैं। उन्होंने वकालत के साथ-साथ कांग्रेस पार्टी में काम करना शुरू किया। युवा कांग्रेस में कई पदों पर कार्य करने के बाद 2005 में उन्होंने सीकर जिले के लक्ष्मणगढ़ पंचायत समिति के सदस्य का चुनाव लड़ा।
एक अक्टूबर 1964 को सीकर जिले के लक्ष्मणगढ़ के कृपाराम जी की ढाणी में जन्मे डोटासरा ने राजस्थान विश्वविद्यालय से कानून में डिग्री हासिल की। सीकर की अदालतों में दो दशकों से अधिक समय तक वकालत की। उनका विवाह चार मार्च 1984 को सुनिता देवी के साथ हुआ। उनके दो बेटे हैं। उनकी पत्नी सरकारी स्कूल में अध्यापिका हैं। डोटासरा सीकर जिले के सात साल तक पार्टी अध्यक्ष रहे और उन्होंने 2005 में अपना राजनीतिक जीवन शुरू किया।
2008 में उन्होंने कांग्रेस के टिकट पर लक्ष्मणगढ़ विधानसभा से चुनाव लड़ा और जीते। 2008 से वे लगातार जीत रहे हैं और इस समय गहलोत मंत्रिमंडल में राज्य के शिक्षा मंत्री हैं।