जयपुर: राजस्थान विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस से जुड़ी एक बड़ी खबर सामने आई है। सूत्रों के हवाले से मिली जानकारी के मुताबिक, 3 बड़े नेताओं के टिकट खतरे में हैं। ऐसा माना जा रहा है कि ये वही नेता हैं, जिनकी वजह से 25 सितंबर 2022 को राजस्थान कांग्रेस विधायक दल की बैठक नहीं हो पाई थी। इन नेताओं को लेकर केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में सोनिया गांधी और राहुल गांधी ने तीखे तेवर दिखाए हैं। जिससे इस बात का अंदाजा लगाया जा रहा है कि इन नेताओं की टिकट लटक सकती है।
कौन हैं ये 3 नेता?
राजस्थान में जिन 3 नेताओं की टिकट पर खतरा मंडरा रहा है, उनमें सीएम अशोक गहलोत के करीबी मंत्री शांतिलाल धारीवाल, महेश जोशी और दर्जा प्राप्त मंत्री धर्मेन्द्र राठौड़ का नाम शामिल है।
क्या है पूरा मामला?
बीते साल आलाकमान के निर्देश पर जयपुर में विधायक दल की बैठक बुलाई गई थी। इस दौरान सोनिया के अध्यक्ष रहते पर्यवेक्षकों को बिना बैठक के वापस आना पड़ा था। इसके बाद इन तीनों नेताओं को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया था। अब महेश जोशी और धर्मेंद्र राठौड़ का टिकट तो स्क्रीनिंग कमेटी में ही अटका रह गया, लेकिन धारीवाल का नाम स्क्रीनिंग कमेटी ने गहलोत के विशेष अनुरोध पर केंद्रीय चुनाव समिति में भेज दिया।
सोनिया ने धारीवाल के नाम पर कहा- ये कौन हैं?
सुबह 8.30 बजे शुरू हुई बैठक में जैसे ही धारीवाल का नाम आया तो नाराजगी भरे लहजे में सोनिया गांधी बोल पड़ीं कि ये कौन हैं? इनका नाम कैसे? इसके बाद अशोक गहलोत शांतिलाल धारीवाल का पक्ष रखने लगे और इलाके में उनकी पकड़ की बात समझाने लगे।
इसी दौरान राहुल गांधी बीच में बोल पड़े और कहा कि इस विषय को यहीं खत्म करिए। फिर राहुल ने स्क्रीनिंग कमेटी के चैयरमैन गौरव गोगोई से कहा कि धारीवाल परिवार के बाहर कोई फ्रेश उम्मीदवार नहीं है क्या? तब गोगोई ने हामी भरते हुए ओके कहा और सिर हिला दिया। धारीवाल परिवार से बाहर की बात करके राहुल ने साफ कर दिया है कि 79 साल के धारीवाल के बेटे को टिकट दिलाने की उम्मीद रखना भी सिर्फ भ्रम है। इस पूरे मामले पर खरगे से लेकर गहलोत तक सभी खामोश हो गए।
इसके बाद ये संदेश गया कि 25 सितंबर को जयपुर में जो हुआ, उसी वजह से अलाकमान ने इस तरह का रवैया अपनाया है। ऐसे में तीनों नेताओं को टिकट मिलना अब बहुत मुश्किल नजर आ रहा है।