राजस्थान के भरतपुर से पुलिस की लापरहवाही का बहुत बड़ा मामला सामने आया है। खबर है कि भरतपुर के अमोली टोल प्लाजा पर पेशी पर ले जाए जा रहे मुलजिम को कुछ लोगों ने गोली मार दी। जानकारी मिली है कि जयपुर की तरफ से रोडवेज बस में बिठाकर पुलिसकर्मी मुलजिम को भरतपुर ले जा रहे थे। इसी दौरान अमोली टोल प्लाजा के पास मुलजिम पर फायरिंग हो गई, जिसमें उसकी जान चली गई।
इस हत्याकांड में मुठभेड़ के बाद चार आरोपियों को भरतपुर पुलिस पुलिस ने गिरफ्तार किया है।
टोल प्लाजा पर 8 से 10 राउंड किए फायर
जानकारी मिली है कि अमोली टोल प्लाजा पर लगभग 8 से 10 राउंड फायर किए गए हैं। घटना की सूचना पर स्थानीय थाने से पुलिस भी मौके पर पहुंच गई। जिन मुलजिमों पर फायरिंग हुई है वे कृपाल सिंह जघीना हत्याकांड के आरोपी हैं। इस दौरान आरोपी कुलदीप जघीना और विजयपाल पर फायरिंग हुई थी। घटना की सूचना मिलते ही भरतपुर SP मृदुल सिंह कच्छावा जिला आरबीएम अस्पताल पहुंचे। जिसके बाद अस्पताल को पुलिस छावनी में तब्दील कर दिया गया।
कृपाल सिंह जघीना हत्याकांड का था आरोपी
भरतपुर के बहुचर्चित कृपाल जघीना हत्याकांड के मुख्य आरोपी कुलदीप जघीना की गोली मारकर हत्या कर दी गई है। आमोली टोल प्लाज पर बदमाश मारुति में सवार होकर आए और रोडवेज बस में सवार कृपाल सिंह जघीना की हत्या के मुख्य आरोपी कुलदीप और विजयपाल पर अंधाधुंध गोलियां चला दीं। इस दौरान विजयपाल बालबाल बच गया। लेकिन इस पूरे मामले में पुलिस की बड़ी लापरवाही सामने आई है। सवाल उठ रहा है कि इतने गंभीर मामले के दोनों आरोपियों को रोडवेज बस से भरतपुर पेशी पर क्यों ले जाया जा रहा था।
(रिपोर्ट- कपिल चीमा)
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