Delhi Air Pllution: दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण का स्तर एक बार फिर बढ़ गया है। दिल्ली का एक्यूआई गंभीर श्रेणी में बना हुआ है। यहां आज सबसे अधिक एक्यूआई द्वारका में दर्ज किया गया। द्वारका में एक्यूआई 490 पहुंच गया है। इस बीच पराली जलाने से लोग बाज नहीं आ रहे हैं। दिल्ली में प्रदूषण की रोकथाम के लिए दिल्ली सरकार द्वारा तमाम तरह के उपाय किए जा रहे हैं, जिसका परिणाम कुछ भी देखने को नहीं मिल रहा है। इस बीच पंजाब में पराली जलाने को लेकर रेड अलर्ट जारी किया गया है। प्रशासन द्वारा सख्ती करने के बावजूद पराली जलाने के मामलों में कमी देखने को नहीं मिल रही है। इस बीच अब पंजाब सरकार एक्शन मोड में आ गई है। पंजाब के चीफ सेक्रेटरी ने 9 जिलों के डीसी को नोटिस दिया है।
पंजाब मे में रेड अलर्ट, फिर भी जल रही पराली
बुधवार को जिन जिलों में 100 से अधिक पराली जलाने के मामले सामने आए हैं, उन जिलों के डीसी को ये नोटिस जारी कर पूछा गया है कि आप तीन दिन में कारण बताएं कि आपके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही क्यों ना की जाए। क्योंकि आप पराली जलाने के मामलों को रोकने के लिए निर्देश दिए जाने के बावजूद अपने जिलों में किसानों को पराली जलाने से रोक नहीं सके हैं, जैसा कि सुप्रीम कोर्ट का निर्देश था। बता दें कि पंजाब के बरनाला, भटिंडा, फरीदकोट, फाजिल्का, फिरोजपुर, लुधियाना, मोगा, मुक्तसर और संगरूर जिलों के डीसी को ये नोटिस जारी किया गया है।
सेक्रेटरी ने डीसी को भेजा नोटिस
इससे पहले 2 नवंबर को पंजाब के चीफ सेक्रेटरी ने 12 जिलों के डीसी को लगातार बढ़ रहे पराली जलाने के मामलों को लेकर सख्ती करने के निर्देश दिए थे। इस दौरान डीसी को कहा गया था कि अगर उनके इलाकों में स्थिति में सुधार नहीं होता तो उनकी एनुअल परफॉर्मेंस अप्रेजल रिपोर्ट में नेगेटिव मार्किंग की जा सकती हैं। 10 नवंबर को सुप्रीम कोर्ट ने चेतावनी दी थी कि अगर पंजाब में स्थिति ना सुधरी तो पंजाब के चीफ सेक्रेटरी को भी सम्मन किया जा सकता है। इसी वजह से माना जा रहा है कि चीफ सेक्रेटरी के द्वारा उन जिलों के डीसी से जवाब तलब किया गया है, जहां पर पराली जलाने के मामले रुकने का नाम नहीं ले रहे हैं।