साल 2020 आईपीओ मार्केट के लिए शानदार रहा है। इस दौरान 16 कंपनियों ने बाजार के जरिए 31 हजार करोड़ रुपये जुटाए हैं। इनमें से 5 कंपनियों ने हजार करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम बाजार से जुटाई है।
एनडीटीवी ने कहा कि कंपनी का नियंत्रण कथित तौर पर छोड़ दिए जाने का मामला अभी प्रतिभूति अपीलीय न्यायाधिकरण में लंबित है।
सूरत स्थित इस कंपनी ने आईपीओ का एक हिस्सा अपने कर्मचारियों के लिए आरक्षित करने का फैसला किया है। वह पात्र स्टाफ के लिए छूट देने पर भी विचार कर सकती है।
सेबी के मुताबिक म्यूचुअल फंड की प्रत्येक योजना की सभी परिसंपत्तियों और देनदारियों को अलग-अलग गिना जाएगा तथा एक दूसरे में उतार-चढ़ाव के असर से पृथक रखा जाएगा।
अगस्त, जुलाई, जून, मई और अप्रैल में पी-नोट्स के जरिये निवेश क्रमश: 74,027 करोड़, 63,228 करोड़, 62,138 करोड़, 60,027 करोड़ और 57,100 करोड़ रुपये का हुआ था।
इस समय इस वैक्सीन के तीसरे चरण का परीक्षण बेलारूस, यूएई, वेनेजुएला और अन्य देशों में चल रहा है। आरडीआईएफ ने कहा कि भारत में दूसरे चरण और तीसरे चरण का परीक्षण चल रहा है।
सेबी ने स्मार्ट कार्यक्रम के तहत पहले बैच में पैनल में 16 राज्यों तथा केंद्र शासित प्रदेशों के 40 लोगों को शामिल किया है। इन लोगों को चार दिन का प्रशिक्षण नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ सिक्योरिटीज मार्केट (एनआईएसएम) में भी दिया गया है।
एनएसई ने कहा कि ब्रोकर कंपनी एक्सचेंज के दिशा-निर्देशों का अनुपालन करने में विफल रही है।
सहारा ने कहा कि माननीय सुप्रीम कोर्ट ने पूर्व में उसे प्रिंसीपल राशि जो लगभग 24,700 करोड़ रुपए है, जमा करने का निर्देश दिया और हम पहले ही 22,000 करोड़ रुपए जमा करवा चुके हैं।
आईपीओ से मिली धनराशि का इस्तेमाल कंपनी की विनिर्माण क्षमता को बढ़ाने और कर्ज चुकाने के लिए किया जाएगा।
केके मोदी के दो नवंबर 2019 के गुजरने के बाद उनके बेटे ललित मोदी ने अपने पिता द्वारा सृजित न्यासी पत्र की शर्तों के अनुसार पारिवारिक संपत्ति को बेचने का प्रयास किया।
24 मार्च, 2017 को सेबी द्वारा दिए गए फैसले में आरआईएल और उसकी 12 प्रमोटर ग्रुप इकाईयों को तथाकथित सिक्यूरिटीज मार्केट से संबंधित अनुचित व्यापार प्रथा के लिए इक्विटी डेरीवेटिव्स में लेनदेन करने से प्रतिबंधित कर दिया था।
पीआईटी नियमों के तहत किसी भी कंपनी के प्रत्येक प्रवर्तक, कर्मचारी और निदेशक को खरीदे या बेचे गए शेयरों के बारे में दो कारोबारी दिवस के भीतर खुलासा करना होता है।
सूचनाओं की उपलब्धता में खामी को दूर करते हुये पूंजी बाजार नियामक सेबी के निदेशक मंडल ने मंगलवार को यह फैसला किया कि सूचीबद्ध कंपनियों को उनके खातों की फारेंसिंक जांच शुरू होने के बारे में जानकारी देनी होगी।
सेबी ने एक आदेश में कहा कि येस बैंक के निदेशक मंडल को लेनदेन के बारे में खुलासा नहीं करके कपूर ने खुद के और संबद्ध पक्षों के बीच एक अपारदर्शी परत बनाई।
सेबी के नए नियमों के मुताबिक मल्टीकैप फंड को निवेश का कम से कम 25% हिस्सा स्मॉलकैप में रखना होगा। हालांकि बाद में सेबी ने साफ किया कि फंड अपनी योजनाओं का उसके पोर्टफोलियो से मिलती जुलती दूसरी योजनाओं में मर्जर कर सकते हैं।
पैनल में शामिल प्रशिक्षक नियामक के निवेशक शिक्षा और संरक्षण के क्षेत्र में की जा रही पहल को आगे बढ़ाएंगे। ये प्रशिक्षक निवेशकों के लिए जागरुकता कार्यक्रम चलाएंगे जिससे आम लोगों की बाजार को लेकर समझ और बेहतर हो।
सेबी ने हाल ही मे आदेश दिया था कि मल्टी कैप स्कीम में लार्ज कैप, मिड कैप और स्मॉल कैप में कुल एसेट्स का कम से कम 25-25 फीसदी निवेश होना जरूरी है।
नियम के मुताबिक कुल एसेट्स का कम से कम 25 फीसदी हिस्सा लार्ज कैप कंपनियों में, 25 फीसदी हिस्सा मिडकैप कंपनियों में और बाकी 25 फीसदी हिस्सा स्मॉलकैप कंपनियों में निवेश करना होगा।
भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) ने धोखाधड़ी पूर्ण कारोबारी गतिविधियों में शामिल होने के चलते ग्लोबल सिक्युरिटीज लिमिटेड और 12 व्यक्तियों के शेयर बाजार में काम करने पर रोक लगा दी है।
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