स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (एसबीआई) के समूह मुख्य आर्थिक सलाहकार सौम्य कांति घोष द्वारा लिखित रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि प्रति व्यक्ति नाममात्र जीडीपी में मार्च 2025 को खत्म होने वाले चालू वित्त वर्ष में उल्लेखनीय वृद्धि होने की उम्मीद है।
घरेलू बचत गिरकर जीडीपी के 5.1 प्रतिशत पर सिमट गई, जो पिछले पांच दशक में सबसे कम है। पिछले दो साल में परिवारों को दिए गए खुदरा ऋण का 55 प्रतिशत Home Loan, शिक्षा और वाहन पर खर्च किया गया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी मंगलवार को 77वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर लालकिले की प्राचीर से कहा था कि साल 2028 तक भारत दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगी।
एसबीआई की रिपोर्ट के मुताबिक, वैश्चिक डाटा दिखाते हैं कि तीसरी लहर के दौरान औसतन कोविड-19 के मामले दूसरी लहर की तुलना में दोगुने या 1.7 गुना अधिक होंगे।
राज्य सरकारों को सत्ता में बनाये रखने में चुनावी वर्ष के दौरान प्रचार और विज्ञापन पर किए जाने खर्च का महत्वपूर्ण प्रभाव होता है।
अनाज खरीद की ऐतिहासिक प्रवृत्ति को देखा जाए तो कुल गेहूं उत्पादन का केवल 25 से 35 प्रतिशत की ही खरीदी होती रही है।
एसबीआई ने कहा है कि ऑटो सेक्टर में कमजोर मांग, एयर ट्रैफिक घटने, कोर सेक्टर की कमजोर वृद्धि दर और इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में निवेश घटने से चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में देश की जेडीपी वृद्धि दर घटकर 4.2 प्रतिशत रह सकती है।
कच्चे तेल की कीमत में एक डॉलर प्रति बैरल की वृद्धि से सभी प्रमुख 19 राज्यों को औसतन 1,513 करोड़ रुपए का राजस्व लाभ होता है।
एसबीआई रिसर्च ने तंत्र में 70 हजार करोड़ रुपये की कमी बताने के एक ही दिन बाद इससे पलटते हुए नकदी संकट को आज सतही करार दिया।
एसबीआई रिसर्च ने कहा सितंबर, 2016 से अर्थव्यवस्था में सुस्ती है और यह तकनीकी नहीं बल्कि वास्तविक है। पीएम रोजगार सृजन कार्यक्रम ऋण आवंटन में देरी हो रही है।
एसबीआई रिसर्च की एक रिपोर्ट के अनुसार, बैंकों की लोन ग्रोथ में इस भारी गिरावट का बड़ा हिस्सा मात्र 10 कंपनियों के खाते में गया है।
देश की आर्थिक वृद्धि दर 2015-16 और 2016-17 के लिए नई IIP और GDP श्रृंखला के कारण संशोधित कर क्रमश: 8.3 फीसदी और 7.6 फीसदी किए जाने की संभावना है।
रिपोर्ट के अनुसार इस साल मानसून सामान्य रहा तो कृषि क्षेत्र की जीडीपी की वृद्धि दर 3-4 प्रतिशत रह सकती है। स्वामीनाथन ने कहा कि इससे किसानों की आय बढ़ेगी।
SBI रिसर्च ने चालू वित्त वर्ष में जीडीपी वृद्धि दर 6.7 प्रतिशत रहने की बात कही है। सीएसओ ने जीडीपी ग्रोथ का अग्रिम अनुमान 7.1 प्रतिशत जताया है
कुल बंद नोटों का करीब 75 प्रतिशत जनवरी अंत तक बैंकिंग प्रणाली में वापस आ जाएगा। ऐसे में नकदी संकट को लेकर पैदा हुई स्थिति अगले दो माह में सामान्य हो पाएगी।
SBI रिसर्च ने कहा है कि पुराने नोट बंद करने का सरकार का फैसला सही है। हालांकि, सरकार को Black Money की अर्थव्यवस्था के स्रोत को लेकर सतर्क रहने की जरूरत है।
भारतीय स्टेट बैंक (SBI) के आर्थिक शोध विभाग ने कहा कि नोटबंदी से पहले बैंक डिपॉजिट में 2,870 अरब रुपए की वृद्धि में कुछ भी संदिग्ध नहीं है।
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