रिजर्व बैंक ने आज लॉकडाउन के कारण विदेशी बाजारों से लिये गये वाणिज्यिक कर्ज (ईसीबी) का उपयोग नहीं करने वाली कंपनियों को राहत दी है। केंद्रीय बैंक ने बुधवार को कहा कि बिना उपयोग वाली एक मार्च, 2020 से पहले ईसीबी के जरिये जुटायी गयी राशि देश के बैंकों में मियादी जमा के रूप में एक मार्च, 2022 तक रखी जा सकती है।
एमपीसी की बैठक के नतीजों की घोषणा सात अप्रैल को होगी। इस समय रेपो दर चार प्रतिशत तथा रिवर्स रेपो दर 3.35 प्रतिशत है।
रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकान्त दास की अगुवाई वाली मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की तीन दिन की बैठक के बाद केंद्रीय बैंक सात अप्रैल को 2021-22 के वित्त वर्ष के लिए पहली मौद्रिक नीति समीक्षा की घोषणा करेगा। इससे पहले पांच फरवरी को पिछली मौद्रिक नीति समिति की बैठक में रिजर्व बैंक ने रेपो दर में कोई बदलाव नहीं किया था।
इस लाजिस्टिक्स नीति का मकसद पांच साल में देश में लाजिस्टिक की लागत को सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) के 13 प्रतिशत से कम करके आठ प्रतिशत पर लाना है।
एलआईसी लोगों की हर तरह की जरूरतों को पूरा करने के लिए पॉलिसी ऑफर कर रही है। इसमें लोगों की अपनी जरूरतों, बच्चों का भविष्य से लेकर आश्रितों के लिए आर्थिक सुरक्षा शामिल है।
एक सर्वे के अनुसार महामारी के दौरान 51 प्रतिशत लोगों ने बीमा में निवेश किया। वहीं 48 प्रतिशत लोगों ने स्वास्थ्य से संबंधित बीमा समाधान में पैसा लगाया। यह अन्य वित्तीय संपत्ति वर्ग की तुलना में कही अधिक है।
पॉलिसी धारक ऑनलाइन और एसएमएस के जरिए अपनी पॉलिसी के स्टेटस के बारे में जान सकते हैं। इससे प्रीमियम में भुगतान में देरी जैसी भूल से बचा जा सकेगा। साथ ही पॉलिसी धारकों को अपनी पॉलिसी के सभी लाभ की जानकारी रहेगी।
केंद्रीय बैंक की मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की बैठक के नतीजों की घोषणा पांच फरवरी को की जाएगी। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण एक फरवरी को लोकसभा में आम बजट पेश करेंगी।
वैश्विक मांग में भारत के निर्यात का हिस्सा 0.5 प्रतिशत से भी कम है। ऐसे में इस क्षेत्र में काफी अवसर हैं। इस क्षेत्र में अभी चीन और वियतनाम जैसे देशों का दबदबा है। भारत का खिलौना निर्यात करीब 10 करोड़ डॉलर पर सीमित है।
व्हाट्सऐप ने कहा कि उसकी सेवा जारी रखने के लिए यूजर्स को आठ फरवरी 2021 तक नई शर्तों और नीति को स्वीकार करना होगा। इसके बाद कंपनी के इस कदम पर सवाल उठने लगे हैं. कारोबारी संगठन और कई दिग्गज कारोबारियों ने प्लेटफॉर्म छोड़ने की भी बात कही है
पॉलिसीधारकों को विलंब शुल्क पर 20 प्रतिशत या 2,000 रुपये की छूट मिलेगी। वहीं सालाना प्रीमियम एक लाख से तीन लाख रुपये होने पर 25 प्रतिशत की छूट मिलेगी। एलआईसी ने अपने ग्राहकों के लिए इसी तरह का अभियान 10 अगस्त से नौ अक्टूबर, 2020 तक भी चलाया था।
ट्राई के प्रमुख ने कहा कि नियामक इस दिशा में पूरे मन से काम कर रहा है। उन्होंने कहा कि भारत को प्रौद्योगिकी उत्पादों का वैश्विक केंद्र बनाने के लिए समर्थन वाली नीतियां विकसित करने की जरूरत होगी।
रिजर्व बैंक गवर्नर शक्तिकान्त दास की अगुवाई वाली छह सदस्यीय मौद्रिक नीति समिति की दो दिन की बैठक दो दिसंबर से शुरू होगी। बैठक के नतीजों की घोषणा चार दिसंबर को की जाएगी।
सरकार ने तेल एवं गैस की खोज को तेज करने तथा घरेलू उत्पादन बढ़ाने के लिये 2018 में ओएएलपी के तहत पहले दौर की नीलामी शुरू की थी। इसके तहत खोज करने वाली कंपनियों को क्षेत्र चुनने की सुविधा मिलती है। गुरुवार तक 5 दौर की बोलियों पर फैसला किया जा चुका है।
रिजर्व बैंक ने रेपो दर को चार प्रतिशत पर अपरिवर्तित रखने का ऐलान किया, विशेषज्ञों के मुताबिक रिजर्व बैंक ने विकास पर अपना ध्यान रखते हुए अपने ऐलान को जितना उदार रखा जा सकता था उतना रखा है।
कोरोना वायरस महामारी के बीच दुनिया की प्रमुख अर्थव्यवस्थाएं मंदी की गिरफ्त में हैं। इसके बीच गोल्ड ईटीएफ का आकर्षण बढ़ा है।
नियामक ने बीमा कंपनियों से इन फीचर्स से बीमा की कीमत पर पड़ने वाले प्रभाव का आकलन कर उसे आवेदन के समय ग्राहक के समक्ष स्पष्ट रूप से उल्लेख करने के लिए कहा है।
एलआईसी अपनी पॉलिसीधारकों को बंद हो चुकी पॉलिसी को फिर से शुरु करने का मौका दे रही है। एलआईसी ने एक खास कैंपेन की शुरुआत की है जो 9 अक्टूबर तक जारी रहेगा। इस कैंपेन में खास शर्तों को पूरा करने वाली पॉलिसी को फिर से शुरू करने का ऑफर दिया जा रहा है
आप पुराने समय को याद करें और कहें कि जब मैं युवा था तभी मुझे टर्म इंश्योरेंस ले लेना चाहिए था, इससे बेहतर है कि आप आज ही टर्म इंश्योरेंस खरीद लें।
पूरे भारत में हर पांचवें व्यक्ति के पास होम इंश्योरेंस है जबकि राष्ट्रीय राजधानी में 35 प्रतिशत लोगों के पास होम इंश्योरेंस है।
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