अरूण जेटली ने कहा, भारत कच्चे तेल मूल्यों के मौजूदा स्तर से निपट सकता है लेकिन इसके और महंगा होने से इसका अर्थव्यवस्था प्रभावित होगी।
मौसम विभाग द्वारा इस साल बारिश कम होने की संभावना से इनकार करने के बाद CII ने कहा, कच्चे तेल के भाव में थोड़ी बढ़ोतरी चिंता सामान्य मानसून से दूर हो जाएगी।
कैबिनेट ने 2016-17 के खरीफ मौसम के लिए दालों का न्यूनतम समर्थन मूल्य 425 रुपए बढ़ाकर 5,000-5,225 रुपए प्रति क्विंटल किए जाने को मंजूरी दे दी है।
करीब चार साल के अंतराल के बाद भारत ने आसान अनुबंध की शर्तों के साथ 46 सीमांत तेल एवं गैस क्षेत्रों के लिए अंतरराष्ट्रीय निविदा निकालने की पेशकश की है
मुकेश अंबानी की कंपनी रिलायंस इंडस्ट्री को तमिलनाडु में प्रस्तावित एक ड्रिलिंग परियोजना के लिए एन्वायरमेंट क्िलयरेंस मिल गया है।
वैश्विक स्तर पर कच्चे तेल की आपूर्ति का आधिक्य इस साल नाटकीय रूप से कम होगा।
ईरान ने भारत को कच्चे तेल की नि:शुल्क ढुलाई बंद कर दी है। रिफाइनरी कंपनियों को ढुलाई का प्रबंध खुद करने को कहा गया है।
ईरान को सरकार ने नेशनल इरानियन आयल कंपनी को मुंबई में दफ्तर खरीदने की मंजूरी दी है, अब वहां के बैंक अपनी शाखाएं भारत में खोल सकते है।
भारत ने ईरान के चाबहार बंदरगाह पर एलएनजी टर्मिनल स्थापित करने में रचि दिखाई है ताकि वहां से तरल प्राकृतिक गैस (एलएनजी) की खेप देश में भेजी जा सके।
सरकार चाहती है कि नकदी संपन्न कोल इंडिया, ऑयल इंडिया और एनटीपीसी जैसी सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियां शेयरों की पुनर्खरीद करें और बही खाते को सुधारें।
तेल निर्यातक देशों को कच्चे तेल के दाम घटने के मद्देनजर पिछले साल 390 अरब डॉलर का भारी-भरकम नुकसान हुआ है। इस साल और अधिक 500 अरब डॉलर का नुकसान हो सकता है।
रिलायंस ने ईरान से छह साल के अंतराल के बाद कच्चा तेल खरीदा है और वह फारस की खाड़ी में स्थित देश से तय मात्रा वाले दीर्घकालिक सौदे करने पर विचार कर रही है।
देश का क्रूड ऑयल का आयात बिल बीते वित्त वर्ष 2015-16 में घटकर आधा यानी 64 अरब डॉलर रह गया। कच्चे तेल की कीमतों में आई गिरावट का फायदा भारत को मिला है।
सुषमा स्वराज दो दिन की यात्रा पर ईरान पहुंचीं। उनकी यात्रा का मकसद इस शक्तिशाली इस्लामिक देश से तेल आयात बढ़ाने के साथ व्यापार संबंधों को मजबूत बनाना है।
सरकार ने सार्वजनिक क्षेत्र की ऑयल कंपनियों को अपनी वाणिज्यिक जरूरतों के आधार पर खुद की स्वतंत्र कच्चा तेल आयात पॉलिसी बनाने की छूट दे दी।
सऊदी अरब की प्रमुख तेल कंपनी अरामको की भारत के पेट्रोलियम क्षेत्र में बड़े निवेश की योजना है। कंपनी ऐसे समय जब वैश्विक अर्थव्यवस्था में संकट है
वित्त वर्ष 2016-17 शुरू होते ही कई सर्विस और सामान भले ही महंगे हो गए हों लेकिन तेल कंपनियों ने गैर-सब्सिडी वाले एलपीजी के दाम घटाकर कुछ राहत जरूर दी है।
इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन ने बताया कि दिल्ली में एक मार्च से बिना सब्सिडी वाला 14.2 किलोग्राम का एलपीजी सिलेंडर 575 रुपए की बजाय 513.50 रुपए का मिलेगा।
गैस की कीमतों को तय करने के नए फार्मूले का असर दिख सकता है। नेचुरल गैस के दाम अप्रैल में 17 फीसदी घटकर 3.15 डॉलर प्रति यूनिट (एमएमबीटीयू) पर आ सकते हैं।
आपसी सहयोग को बढ़ाते हुए भारत और संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) ने साइबर सिक्योरिटी, इंफ्रास्ट्रक्चर में निवेश और बीमा सहित 7 करारों पर दस्तखत किए।
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