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ट्रेडिंग अकाउंट और डीमैट अकाउंट के बीच मुख्य अंतर स्वामित्व है। सिर्फ आपके स्वामित्व वाली संपत्ति या सिक्योरिटीज ही डीमैट खाते में आ सकती हैं। यही कारण है कि इंट्राडे ट्रेड और F&O ट्रेड ट्रेडिंग खाते में होते हैं, लेकिन डीमैट खाते में दिखाई नहीं देते हैं।
अकासा एयर ने एक बयान में कहा कि अकासा एयर को 27 दिसंबर 2024 को डीजीसीए से एक आदेश हासिल हुआ है। हम डीजीसीए के साथ काम करना जारी रखेंगे और उसके मुताबिक, अनुपालन करेंगे। सुरक्षा सबसे महत्वपूर्ण है और हम सुरक्षा के उच्चतम मानकों को बनाए रखने के लिए निरंतर प्रयास करते हैं।
रियल एस्टेट कंपनी ने कहा कि उसने 2024-25 के पहले नौ महीनों में लगभग 5,000 करोड़ रुपये की बुकिंग वैल्यू हासिल कर ली है। यह प्रदर्शन कंपनी के 4,800-5,200 करोड़ रुपये के पूरे साल के मार्गदर्शन के भीतर है।
आभूषण विक्रेताओं की निरंतर खरीदारी और रुपये में गिरावट के कारण सोने के भाव को सपोर्ट मिला। व्यापारियों ने कहा कि रूस-यूक्रेन युद्ध और मध्य पूर्व में तनाव से उपजे भू-राजनीतिक तनाव के कारण भी सुरक्षित निवेश को मजबूती मिली है।
अगर आपके पास इक्विटी बेस्ड म्यूचुअल फंड यूनिट्स हैं तो आपको तुलनात्मक रूप से लोन के रूप में कम पैसे मिलेंगे। लेकिन आपके पास अगर डेट बेस्ड म्यूचुअल फंड यूनिट्स हैं तो आपको ज्यादा लोन मिल सकता है। आइए अब म्यूचुअल फंड पर मिलने वाले इंस्टैंट लोन के कुछ बड़े फायदे और नुकसान के बारे में भी जान लेते हैं।
साल 1979 में, सुजुकी मोटर के चौथे कंपनी अध्यक्ष बनने के एक साल बाद, उन्होंने एक किफायती मिनीकार लॉन्च की, जो एक बड़ी हिट बन गई और दुनिया भर के बाजारों में उसका खूब प्रचार-प्रसार हुआ।
आरबीआई ने कहा है कि एक प्रीपेड पेमेंट इंस्ट्रूमेंट्स जारीकर्ता अपने ग्राहक प्रीपेड पेमेंट इंस्ट्रूमेंट्स को अपने यूपीआई हैंडल से जोड़कर सिर्फ अपने फुल केवाईसी प्रीपेड पेमेंट इंस्ट्रूमेंट होल्डर को यूपीआई पेमेंट करने में सक्षम होगा।
सरकारी बैंकों के ग्रॉस एनपीए रेशो में जबरदस्त सुधार देखा गया है, जो मार्च 2018 में 14.58 प्रतिशत के उच्च स्तर से सुधार करते हुए सितंबर 2024 में 3.12 प्रतिशत पर आ गया। एनपीए में आई ये कमी बैंकिंग सिस्टम में तनाव को दूर करने के उद्देश्य से उठाए गए कदमों की सफलता को दर्शाती है।
पिछले कुछ हफ्तों में रुपया लगभग हर दिन नए निचले स्तर को छू रहा है। पिछले दो सत्रों में 13 पैसे की गिरावट के बाद गुरुवार को डॉलर के मुकाबले भारतीय मुद्रा 12 पैसे गिरकर 85.27 पर आ गई थी।
बीएसई मिडकैप इंडेक्स सपाट कारोबार कर रहा था, जबकि स्मॉलकैप इंडेक्स 0.3 प्रतिशत ऊपर देखे गए। ऑटो, फार्मा, मीडिया सेक्टर में मजबूती दिखी। रियल्टी, पीएसयू बैंक, ऑयल एंड गैस, मेटल इंडेक्स कमजोर दिखे।
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