चीन और अमेरिका के बीच बढ़ रहे व्यापार युद्ध के बीच चीन ने भारत सहित 5 देशों को बड़ा गिफ्ट दिया है। चीन ने भारत से आयात होने वाली 8500 वस्तुओं पर आयात शुल्क घटाने का फैसला किया है।
जीएसटी जांच शाखा ने दो महीने में 2,000 करोड़ रुपए से अधिक की कर चोरी पकड़ी है। आंकड़ों के विश्लेषण से पता चला है कि कर भुगतान में बड़ा योगदान इकाईयों के एक छोटे से वर्ग का ही है।
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के डिप्टी गवर्नर विरल आचार्य ने मंगलवार को कहा कि ऋणशोधन अक्षमता व दिवाला संहिता (IBC) जैसी पहलों व फंसे कर्ज को त्वरित चिन्हित करने जैसे कदम वित्तीय स्थिरता के लिए अच्छे साबित होंगे भले ही फौरी तौर पर इनसे दिक्कत हो।
केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री धर्मेद्र प्रधान ने मंगलवार को कहा कि आगामी दिनों में पेट्रोल-डीजल की कीमतों में और ज्यादा कमी आएगी। प्रधान ने कहा कि मोदी सरकार उपभोक्ताओं के हितों की रक्षा करने की इच्छुक है।
बिजली मंत्रालय आने वाले समय में एयर कंडीशनर के लिए तापमान का सामान्य स्तर 24 डिग्री नियत कर सकता है। अगर ऐसा होता है तो देश भर में सालाना 20 अरब यूनिट सालाना बिजली की बचत होगी साथ ही लोगों के स्वास्थ्य पर भी सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने नए कानून के तहत शराब कारोबारी विजय माल्या को भगोड़ा अपराधी घोषित करने और उसकी 12,500 करोड़ रुपए मूल्य की संपत्ति को जब्त करने की मंजूरी के लिए एक विशेष अदालत का दरवाजा खटखटाया है।
श्विक व्यापार युद्ध गुरुवार को और बढ़ गया। चीन ने कहा है कि यदि डोनाल्ड ट्रंप अपने अतिरिक्त आयात शुल्क को वापस नहीं लेते हैं तो वह बड़ी जवाबी कार्रवाई करेगा।
देश का विदेशी पूंजी भंडार 8 जून को समाप्त सप्ताह में 87.95 करोड़ डॉलर बढ़कर 413.10 अरब डॉलर हो गया, जो 27,881.9 अरब रुपए के बराबर है।
वैश्विक वित्तीय सेवा प्रदाता कंपनी HSBC का कहना है कि जनवरी-मार्च तिमाही में सकल घरेलू उत्पाद (GDP) की वृद्धि दर 7.7% रहने में मुख्य रूप से ‘ सरकार का हाथ ’ है। इसके अनुसार आलोच्य तिमाही में निर्यात व निजी खपत के मोर्चों पर प्रदर्शन निराशाजनक रहा। उल्लेखनीय है कि बीते वित्त वर्ष की जनवरी-मार्च तिमाही में जीडीपी की वृद्धि दर 7.7 प्रतिशत रही है। यह सात तिमाहियों का उच्चस्तर है।
पिछले महीने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को केंद्र की सत्ता संभाले हुए 4 साल हुए हैं, ऐसे में 4 साल पूरे होने के मौके पर सरकार के किए गए कामों का हिसाब लगाया जा रहा है। इसी कड़ी में इंडिया टीवी भी अलग-अलग क्षेत्र में हुए कामों की समीक्षा कर रहा है। आज हाम बात कर रहे हैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के कार्यकाल में राष्ट्रीय राजमार्गों के हुए निर्माण के बारे में और इसके लिए हमने भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की तरफ से जारी आंकड़ों को आधार बनाया है
पीएम मोदी ने एक्सप्रेसवे के उदघाटन के मौके पर एक्सप्रेस वे से होने वाले फायदों के साथ उनके 4 साल के कार्यकाल के दौरान अर्थव्यवस्था को ऊपर उठाने के लिए उठाए गए कदमों के बारे मे जानकारी भी दी, प्रधानमंत्री मोदी की तरफ से अपने रिपोर्ट कार्ड पर दी गई जानकारी की मुख्य बातें इस तरह से है
मोदी सरकार के पिछले चार साल के कार्यकाल में आटा, चावल जैसी जरूरी उपभोक्ता वस्तुओं के दाम इनके न्यूनतम समर्थन मूल्य में हुई वृद्धि को देखते हुए ज्यादा नहीं बढ़े।
देश का विदेशी पूंजी भंडार 18 मई को समाप्त सप्ताह में 2.64 अरब डॉलर घटकर 415.05 अरब डॉलर रह गया, जो 28,168.7 अरब रुपए के बराबर है।
भाजपा के नेतृत्व वाली राजग सरकार के पहले चार साल में बंबई शेयर बाजार का सेंसेक्स 41 प्रतिशत से अधिक मजबूत हुआ है। इससे निवेशकों को 72 लाख करोड़ रुपये का लाभ हुआ।
पेट्रोल, डीजल की बढ़ती कीमतों से आम आदमी को राहत पहुंचाने के लिए सरकार आज ही कोई कदम उठा सकती है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की लगातार बढ़ती कीमतों की वजह से देश में पेट्रोल, डीजल के दाम रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच चुके हैं।
एक सर्वेक्षण के अनुसार देश के 13 राज्यों के 75 प्रतिशत परिवारों का मानना है कि पिछले एक साल के दौरान भ्रष्टाचार या तो बढ़ा है या पुराने स्तर पर टिका रहा है।
देश के विदेशी पूंजी भंडार लगातार घट रहा है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के ताजा आंकड़ों के मुताबिक 11 मई को समाप्त सप्ताह के दौरान विदेशी मुद्रा भंडार में 1.23 अरब डॉलर की कमी आई है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने कार्यकाल की बड़ी उपलब्धियों में बिजली क्षेत्र में हुए काम को भी गिनाते हैं, और भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की तरफ से बिजली को लेकर जारी हुए आंकड़ों में प्रधानमंत्री मोदी का दावा सही नजर आ रहा है। RBI के आंकड़ों के मुताबिक पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिहं के दूसरे कार्यकाल यानि 2009 से 2014 के दौरान देश में प्रति व्यक्ति उपलब्ध ऊर्जा में जितनी ग्रोथ हुई थी उससे ज्यादा ग्रोथ मौजूदा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 3 साल के कार्यकाल में हो गई है
इस महीने प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) की सरकार को 4 साल होने जा रहे हैं। अगले साल फिर से देश में आम चुनाव होने हैं ऐसे में मौजूदा मोदी सरकार में हुए कामकाज की तुलना पहले की मनमोहन सिंह सरकार के कामकाज से होने लगी है। इस कड़ी में आज हम तुलना कर रहे हैं मोदी और मनमोहन के समय देश में जमा हुई विदेशी मुद्रा की
पिछले 3-4 साल से देश में बैंकिंग व्यवस्था का तेजी से विस्तार हुआ है और इस विस्तार का फायदा देश के ग्रामीण बैंकों को भी मिला है। भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की तरफ से देश के राज्यों को लेकर जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक अप्रैल 2014 से मार्च 2017 के दौरान देश में ग्रामीण बैंक शाखाओं की संख्या में लगभग 19 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है
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