एमके ग्लोबल फाइनेंशियल सर्विसेज ने कहा कि निफ्टी आईटी इंडेक्स में पिछले एक महीने में 5.5 फीसदी की गिरावट आई है। एक्सेंचर के प्रदर्शन को व्यापक रूप से भारतीय आईटी उद्योग के लिए एक बेंचमार्क माना जाता है।
JP Morgan का कहना है कि 2023 में आईटी शेयर बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं। निवेश फर्म की ओर से कई आईटी शेयरों की रेटिंग को भी अपग्रेड किया गया है।
ऐसा लगता है कि रुपये में गिरावट और लागत नियंत्रण से मार्जिन बढ़ाने में मदद मिली है। कंपनियों ने मार्जिन बढ़ाने के लिए कुछ कदम उठाएं हैं। आईटी कंपनियों में नौकरी छोड़ने वाले कर्मचारियों में कमी आई है, जिससे कंपनियों को अपने संसाधन आवंटन की अच्छी योजना बनाने में मदद मिली है।
बीएसई सेंसेक्स कारोबार के दौरान 66,049.45 अंक के ऐतिहासिक स्तर को छुआ। वहीं, निफ्टी 50 भी पहली बार लाइफ हाई 19,566 अंक पर पहुंचा।
मार्केट एक्सपर्ट का कहना है कि आईटी स्टाॅक्स में यह गिरावट अमेरिका समेत यूरोपीया देशों में सुस्ती के कारण आई है। आईटी कंपनियों का बड़ा कारोबार विदेशी देशों से आता है।
विश्लेषकों का मानना है कि विनिमय दर में उतार-चढ़ाव और बड़े पैमाने पर प्रतिभा की कमी के चलते वेतन बढ़ाने की चुनौतियों से परिचालन मार्जिन पर असर पड़ रहा है।
सेंसेक्स ने शुरुआती कारोबार में 35877.41 का ऊपरी स्तर छुआ है और फिलहाल 134.19 प्वाइंट की बढ़त के साथ 35826.71 पर कारोबार कर रहा है। निफ्टी ने भी शुरुआती कारोबार में 10888.90 का ऊपरी स्तर छुआ है और फिलहाल 33.15 प्वाइंट की बढ़त के साथ 10876 पर कारोबार कर रहा है
बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज का सेंसेक्स और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज काका निफ्टी गिरावट के साथ बंद हुए हैं। सेंसेक्स 73.28 प्वाइंट की कमजोरी के साथ 35103.14 और निफ्टी 38.40 प्वाइंट घटकर 10679.65 पर बंद हुआ है। बाजार में सबसे ज्यादा गिरावट आईटी शेयरों में देखने को मिली है
PNB घोटाला मामले का बाजार पर ज्यादा असर नहीं देखा जा रहा है। खबर लिखे जाते समय बीएसई का सेंसेक्स 34,428.34 पर एनएसई का निफ्टी 10584.55 अंकों पर कारोबार कर रहा था।
माना जा रहा है कि इस तिमाही में ज्यादातर बड़ी IT कंपनी जैसे इन्फोसिस, TCS और HCL टेक को तिमाही दर तिमाही आधार पर 5-15 फीसदी तक घाटा होने का अनुमान है।
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