एसआईपी को जितने लंबे समय के लिए चलाया जाए, इसमें उतना मुनाफा है। दरअसल, एसआईपी में जो कंपाउंडिंग का लाभ मिलता है, वो लंबे समय में ही ज्यादा प्रॉफिट देता है। 25 साल में करोड़ों रुपये का फंड इकट्ठा करने के लिए आप सिर्फ 5000 रुपये के साथ भी एसआईपी शुरू कर सकते हैं।
एसआईपी से मिलने वाला रिटर्न 4 प्रमुख बातों पर निर्भर करता है। पहला ये कि आपको कितने साल के लिए निवेश करना है, दूसरा ये कि आपने कितने रुपये जमा करने का लक्ष्य तय किया है, तीसरा ये कि आप कितने रुपये का निवेश करेंगे और चौथा ये कि आपको कितने प्रतिशत का रिटर्न मिल रहा है।
5000 रुपये की एसआईपी से 5 करोड़ रुपये का फंड तैयार कैसे हो सकता है? इस सवाल का जवाब जानने से पहले आपको ये जानना जरूरी है कि एसआईपी का पूरा फायदा तभी मिलेगा जब आप इसमें ज्यादा से ज्यादा समय के लिए निवेश जारी रखेंगे।
म्यूचुअल फंड्स एसआईपी में एक फिक्स डेट पर एक फिक्स अमाउंट जमा किया जाता है। यहां हम जानेंगे कि म्यूचुअल फंड्स एसआईपी से मोटा पैसा बनाने के लिए किन जरूरी बातों का ध्यान रखना चाहिए।
पीपीएफ में आपको हर साल पैसा जमा कराना होता है। पीपीएफ खाते में अगर आपने एक साल में कम से कम 500 रुपये भी जमा नहीं किए तो आपका खाता बंद कर दिया जाता है। देशभर के तमाम बैंक और डाकघरों में पीपीएफ खाता खोला जाता है।
म्यूचुअल फंड एसआईपी में निवेश करते समय आपको इस बात का खास ध्यान रखना होगा कि म्यूचुअल फंड पर मिलने वाला रिटर्न कैपिटल गेन्स टैक्स के दायरे में आता है। यानी आपको म्यूचुअल फंड से जो रिटर्न मिलेगा, उस पर आपको कैपिटल गेन्स टैक्स का भुगतान भी करना होगा।
इस योजना के तहत सिर्फ बेटियों के खाते खोले जाते हैं, जिनकी उम्र 10 साल से कम होनी चाहिए। सुकन्या समृद्धि योजना (SSY) में कम से कम 250 रुपये और ज्यादा से ज्यादा 1,50,000 रुपये तक का सालाना निवेश किया जा सकता है।
म्यूचुअल फंड एसआईपी में निवेश करने से पहले इस बात का खास ध्यान रखें कि इसमें किया जाने वाला निवेश पूरी तरह से शेयर बाजार के उतार-चढ़ाव पर निर्भर करता है। इसके अलावा, म्यूचुअल फंड एसआईपी से मिलने वाले रिटर्न पर आपको कैपिटल गेन्स टैक्स भी चुकाना पड़ता है।
महिला सम्मान सेविंग्स सर्टिफिकेट में सिर्फ महिलाओं के नाम से ही खाता खुल सकता है। माता-पिता अपनी ओर से नाबालिग बच्ची के नाम पर भी इस स्कीम में खाता खुलवा सकते हैं।
लंबी अवधि में मोटा पैसा बनाने के लिए म्यूचुअल फंड एसआईपी को एक शानदार विकल्प माना जाता है। यहां हम जानेंगे कि 5,000 रुपये की एसआईपी से कैसे 2.63 करोड़ रुपये का फंड तैयार हो सकता है और इसमें कितना समय लगेगा।
एसआईपी के जरिए ज्यादा से ज्यादा पैसा बनाने के लिए आपको ज्यादा से ज्यादा समय के लिए निवेश जारी रखना चाहिए। एसआईपी में कंपाउंडिंग का जबरदस्त फायदा मिलता है और ये फायदा तभी उठाया जा सकता है जब आप इसे लंबे समय तक जारी रखें।
कंपांउडिंग की असली ताकत देखनी हो तो म्यूचुअल फंड में ज्यादा से ज्यादा समय के लिए निवेश जारी रखना चाहिए। 5,000 रुपये की एसआईपी से कम समय में 10 करोड़ रुपये का फंड बनाने के लिए आपको स्टेप-अप फॉर्मूला का इस्तेमाल करना होगा।
म्यूचुअल फंड एसआईपी के जरिए अगर आप एक बड़ी राशि निवेश करते हैं और हर साल उसमें बढ़ोतरी (स्टेप-अप) करते हैं तो एक समय ऐसा आ जाता है जब आपकी संपत्ति में हर साल 1 करोड़ रुपये से ज्यादा की बढ़ोतरी होने लगती है।
अगर किसी व्यक्ति की उम्र 40 के आसपास हो गई है और वह इस उम्र में भी निवेश शुरू करे तो रिटायरमेंट से पहले ही करोड़पति बन सकता है। 40 की उम्र में निवेश शुरू कर रिटायरमेंट से पहले करोड़पति बनने के लिए 15x15x15 का फॉर्मूला आपकी मदद करेगा।
अगर आप लंबी अवधि के लिए निवेश करना चाहते हैं और एक बेहतर विकल्प की तलाश कर रहे हैं तो म्यूचुअल फंड एसआईपी एक अच्छा विकल्प हो सकता है।
म्यूचुअल फंड्स निवेश से मिलने वाले आकर्षक रिटर्न को देखते हुए अब देश के आम निवेशक रिस्क के बावजूद बढ़-चढ़कर निवेश कर रहे हैं।
AMFI के आंकड़ों के मुताबिक निप्पॉन इंडिया लार्ज कैप फंड स्कीम के डायरेक्ट प्लान ने निवेशकों को पिछले 1 साल में 40 प्रतिशत से ज्यादा रिटर्न दिया है।
यह इन्वेस्टमेंट प्लान एसआईपी की तरह ही है। लेकिन इसमें निवेशक अपनी जरूरत के मुताबिक प्रति महीने या तीन महीने पर नियमित आय प्राप्त कर सकता है।
भारतीय रिजर्व बैंक के दिशा निर्देशों के मुताबिक कोई भी बैंक या उसकी शाखा अपने ग्राहकों को बीमा प्लान या कोई निवेश प्लान खरीदने के लिए बाध्य नहीं कर सकता।
आर्सेलरमित्तल ने आर्थिक और बाजार मोर्चे पर कठिन परिस्थितियों को देखते हुए अपनी विलय एवं अधिग्रहण तथा निवेश गतिविधियों में कटौती का फैसला किया है।
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