रिपोर्ट के मुताबिक, ‘‘अर्थव्यवस्था में मजबूती देखी जा रही है, इसके सात प्रतिशत की दर से वृद्धि करने का अनुमान है जो अन्य प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं की वृद्धि की तुलना में अधिक है।
आरबीआई ने तो चालू वित्त वर्ष की अंतिम तिमाही में और भी कम 4.2 फीसदी की वृद्धि दर का अनुमान जताया है।
रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने कहा कि देश की खुदरा मुद्रास्फीति जनवरी से लगातार संतोषजनक सीमा से ऊपर रहने के बाद अब नरम हुई है।
केंद्रीय बैंक ने इस महीने की शुरुआत में अगले वित्त वर्ष 2023-24 के लिए अपने वृद्धि अनुमान को पहले के सात प्रतिशत से घटाकर 6.8 प्रतिशत कर दिया।
आने वाला समय भारत का है। भारत के सुनहरे भविष्य का है। भारत के नेतृत्व में लिए गए फैसले पर दुनिया को अमल करने के लिए मजबुर होने का है। भारत को विकसित राष्ट्र बनते हुए देखने का है। ऐसा हम क्यों कह रहे हैं इस रिपोर्ट को पढ़ने के बाद आप भी समझ जाएंगे।
अडानी ग्रुप भारत के विकास के लिए कई तरह की परियोजनाओं में निवेश कर रहा है। इसका असर आने वाले समय में देखने को मिलेगा। लोगों को रोजगार मिलेगा। समूह ने 5,700 करोड़ के प्रोजेक्ट के अप्रुवल के लिए आवेदन भी दिया है।
मजबूत और समृद्ध भारत का निर्माण दूसरों की कीमत पर नहीं होगा, बल्कि भारत यहां अन्य देशों को उनकी पूरी क्षमता का एहसास कराने में मदद करने के लिए है। भारत आर्थिक विकास के तरफ तेजी से बढ़ रहा है।
Recession in India: पूरी दुनिया मंदी की संकट को लेकर परेशान चल रही है। वहां की सरकारें तरह-तरह की नीतियां बना रही है ताकि आने वाली तबाही से नागरिकों को बचाया जा सके। वर्ल्ड बैंक ने भी 2023 की शुरुआत में मंदी आने को लेकर विश्व को आगाह किया है। ऐसे में सवाल उठता है कि क्या भारत भी इसकी चपेट में आएगा?
आईएमएफ का मानना है कि डिजिटलीकरण के चलते ही भारत सरकार बहुत से ऐसे काम कर पाई है जो इसके बिना बहत ही कठिन होते।
आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास (RBI Governor Shaktikanta Das) ने हाल ही में कहा था कि भारतीय अर्थव्यवस्था (Indian Economy) की बुनियाद मजबूत बनी हुई है।
Amit Shah: केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने आज नई दिल्ली में राज्य सहकारिता मंत्रियों के दो दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन किया गया।
Former Tata Group chairman Cyrus Mistry Dies: टाटा संस के पूर्व चेयरमैन साइरस मिस्त्री (Cyrus Mistry) की आज मुंबई के पास सड़क हादसे में मौत हो गई। साइरस मिस्त्री अहमदाबाद से मुंबई जा रहे थे। इस दौरान उनकी कार डिवाइडर से जा टकराई।
Indian Economy: कोरोना (Corona) काल में पटरी से उतरती दिख रही भारतीय अर्थव्यवस्था (Indian Economy) ने बहुत बड़ा कमबैक किया है। देश के विकास दर में भी लगातार वृद्धि देखी जा रही है।
Indian Economy Growth: केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) ने शुक्रवार को कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था वित्त वर्ष 2022-23 में करीब 7.4 प्रतिशत की दर से बढ़ेगी।
Global Economic Recession: चीन (China) मे सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है। कोरोना वायरस (Coronavirus) के प्रकोप से चीन की अर्थव्यवस्था बुरी तरह प्रभावित हुई है। जुन तिमाही में खुदरा महंगाई भी बढ़ी है। अर्थव्यस्था में महज 0.4 फीसदी की वृद्धी हुई है
Indian economy: पनगढ़िया ने कहा कि भारत और श्रीलंका की तुलना करने पर ‘हंसी’ आती है। भारत ने अपने राजकोषीय घाटे को पाटने के लिए विदेश से कर्ज नहीं लिया है।
अश्विनी वैष्णव ने कहा, ‘‘हम पांच-छह वर्षों तक पूंजीगत निवेश की रणनीति जारी रखते हैं तो अगले 20 वर्षों तक आठ फीसदी की सतत वृद्धि हासिल कर सकते हैं। इस तरह हम समाज में बदलाव ला सकते हैं।’’
मंत्रालय ने कहा, ‘‘बैठक में चर्चा का विषय निवेश को बढ़ाने के लिए एक अनुकूल पारिस्थितिकी तंत्र का निर्माण करना होगा। इसके अलावा बैठक में वृद्धि को प्रोत्साहन, सुधार, निवेश प्रोत्साहन और सुधार आधारित कारोबारी वातावरण के निर्माण के उपायों पर चर्चा होगी।’’
पीएचडीसीसीआई के अध्यक्ष प्रदीप मुल्तानी ने कहा कि फिलहाल जिंसों की ऊंची कीमतों और कच्चे माल की कमी के मुद्दों से निपटने की जरूरत है, जिससे उपभोग और निजी निवेश को समर्थन दिया जा सके।
वित्त वर्ष 2021-22 में 10.25 प्रतिशत के साथ दहाई अंक की जीडीपी वृद्धि का अनुमान है, जो सरकार की प्रभावी नीतियों, आरबीआई के उदार रुख और देश में बेहतर कारोबारी भावनाओं द्वारा समर्थित है।
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