समीक्षावधि में देश को अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष से मिला विशेष आहरण अधिकार 20 लाख डॉलर बढ़कर 1.42 अरब डॉलर हो गया।
6 मार्च को भंडार 487.23 अरब डॉलर के अब तक के सबसे ऊपरी स्तर पर पहुंच गया
जोखिम और रिटर्न के हिसाब से गोल्ड बॉन्ड में निवेश सोना खरीदने से ज्यादा फायदेमंद
लॉकडाउन की वजह से सोने की खरीदारी में दिखी तेज गिरावट
कारोबारियों के मुताबिक एक माह में कारोबार सामान्य स्थिति में पहुंच सकता है
भारत सरकार ने ऑनलाइन आवेदन करने वाले और डिजिटल माध्यम से भुगतान करने वाले निवेशकों को निर्गम मूल्य में 50 रुपए प्रति ग्राम की छूट देने का निर्णय लिया है। ऐसे
इससे पिछले सप्ताह विदेशी मुद्रा भंडार 11.3 करोड़ डॉलर घटा था
गोल्ड के ऊंचे रेट की वजह से फिलहाल सोने पर कर्ज ज्यादा बेहतर विकल्प बन गया है
जब तक आभूषण उद्योग के कारीगर काम पर नहीं लौट आते और आपूर्ति श्रृंखला को जल्द से जल्द शुरू नहीं कर लिया जाता, तब तक आगे के हालात भी चुनौतीपूर्ण रहने की आशंका है।
कीमतों में उतार-चढ़ाव और कोरोना वायरस की वजह से छायी आर्थिक अनिश्चिता के चलते जनवरी-मार्च तिमाही में देश की स्वर्ण मांग 36 प्रतिशत घट गयी।
कोरोना वायरस का प्रभाव दूसरी तिमाही में इससे भी बुरा होगा, क्योंकि लॉकडाउन मई तक बढ़ाया गया है और स्थितियां सामान्य होने में अभी और समय लगेगा।
जानकारों की माने तो 1 साल में सोना 52 हजार का स्तर छू सकता है
ज्वैलर मेकिंग चार्जेस में 30 फीसदी तक छूट ऑफर कर रहे हैं।
WGC के मुताबिक पारदर्शिता के लिए डिजिटल लेन देन का बढ़ना बेहतर संकेत होगा
वर्ष 2020-21 के दौरान देश का विदेशीमुद्रा भंडार करीब 62 अरब डॉलर बढ़ा
अभियान के तहत ग्राहक 26 अप्रैल, 2020 तक ऑनलाइन सोना बुक करा सकते हैं।
स्टोर बंद रहने की वजह से ज्वैलर्स ऑनलाइन खरीदारी और सांकेतिक खरीद के विकल्प लेकर आ रहे हैं।
एजेंसी के मुताबिक अगले कुछ महीनों तक सोने के आभूषणों की मांग पर असर संभव
अंतर्राष्ट्रीय बाजार से मिले कमजोर संकेतों से शुक्रवार को घरेलू वायदा बाजार में सोने और चांदी के दाम में भारी गिरावट दर्ज की गई।
जानकारों के मुताबिक कोरोना महामारी की वजह से निवेशक निवेश के सुरक्षित विकल्पों की ओर रुख कर रहे हैं
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