IMF वैश्विक आर्थिक वृद्धि के अनुमान को पहले ही तीन बार कम कर चुका है। अब इसके वर्ष 2022 में घटकर 3.2 प्रतिशत और वर्ष 2023 के लिए 2.9 प्रतिशत ही रहने की स्थिति बनती दिख रही है।
अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) की प्रमुख ने रविवार को कहा कि इस साल कोरोना वायरस से फैली महामारी वैश्विक आर्थिक वृद्धि को नुकसान पहुंचा सकती है, लेकिन इसके बाद तेजी से आर्थिक सुधार देखने को मिल सकता है।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शुक्रवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए सुस्त पड़ती अर्थव्यवस्था में जान फूंकने के लिए कई बड़े ऐलान किए। उन्होंने बताया कि पूरी दुनिया के मुकाबले भारतीय अर्थव्यवस्था बेहतर है। उन्होंने कहा कि आज अमेरिका और चीन जैसे देशों के मुकाबले भारतीय अर्थव्यवस्था कहीं ज्यादा बेहतर है।
अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) की प्रमुख क्रिस्टीन लेगार्ड ने आज सरकारों को कड़ी चेतावनी देते हुए उनसे संरक्षणवादी व्यापार नीतियों से बचने के लिए कहा इनसे वैश्विक वृद्धि को नुकसान पहुंच रहा है।
देश की आर्थिक वृद्धि दर वित्त वर्ष 2018-19 में बढ़कर 7.5 प्रतिशत हो जाएगी। तेजी की वजह घरेलू खपत, नीतिगत मोर्च पर आगे बढ़ना और समकालीन वैश्विक वृद्धि होगी। एक रिपोर्ट में यह बात कही गई है।
US की इकॉनोमिक ग्रोथ का सकारात्मक परिदृश्य को दिखाते हुए फेडरल रिजर्व की प्रमुख जेनेट येलेन कहा कि वैश्विक ग्रोथ से देश के निर्यात को बल मिलने की उम्मीद है
हार्वर्ड विश्वविद्यालय के एक नए अध्ययन में कहा गया है कि भारत ग्लोबल ग्रोथ के स्तंभ के रूप में उभरा है और दशकों तक यह चीन से बढ़त बनाए रखेगा।
वित्त मंत्री अरूण जेटली ने कहा है कि भारतीय अर्थव्यवस्था की वृद्धि दर (GDP) चालू वित्त वर्ष में 7.5 फीसदी रहने का अनुमान है।
अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) ने चीन पर बढ़ते कर्ज को लेकर चिंता जताई है। अर्थव्यवस्था के मुकाबले यह एक दशक से भी कम समय में दोगुना हो गया है।
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