टेक्नोक्राफ्ट इंडस्ट्रीज के संस्थापक चेयरमैन एस के सराफ ने कहा कि घरेलू उद्योग को प्रतिस्पर्धी बनने और अवसरों का लाभ उठाने के लिए नए युग की टेक्नोलॉजी में भारी निवेश करना होगा।
चीनी सेंट्रल बैंक ने ब्याज दरों में कटौती की और बैंकिंग सिस्टम में 143 अरब डॉलर की पूंजी देने का ऐलान किया। सेंट्रल बैंक ने सूचीबद्ध फर्मों के लिए अपने शेयर वापस खरीदना भी आसान बना दिया।
रिपोर्ट में आर्थिक वृद्धि के लिए एक नए दृष्टिकोण का आह्वान किया गया जो दीर्घकालिक स्थिरता और समानता, गति और गुणवत्ता की जांच के साथ दक्षता को संतुलित करे।
साल 2024 में लगातार तीसरे साल वैश्विक इकॉनमी धीमी रह सकती है। वर्ल्ड बैंक ने अपनी एक रिपोर्ट में यह बात कही है। इससे गरीब देशों के कर्ज के जाल में फंसने की आशंका है। चीनी अर्थव्यवस्था में गिरावट से भी ग्लोबल इकॉनमी पर काफी असर पड़ा है।
दावोस में 15-19 जनवरी तक होने वाली अपनी सालाना बैठक से पहले रिपोर्ट जारी करते हुए WEF ने कहा कि सही पॉलिसी फ्रेमवर्क से ग्रोथ और प्रोडक्टिविटी बढ़ेगी। कंपनियों को नकदी की बचत होगी।
लाल सागर में हूती विद्रोहियों के हमले से ग्लोबल सप्लाई चेन पर बड़ा संकट खड़ा हो गया है। शिपिंग कंपनियां डरी हुई हैं। अगर लंबा रूट लिया जाता है, तो समय और लागत दोनों ही काफी अधिक बढ़ जाएंगी। इससे महंगाई बढ़ने का खतरा है।
यह सुस्ती ऐसे समय में आई है, जब दुनिया विनाशकारी कोविड-19 महामारी के प्रकोप से पूरी तरह उबर नहीं पाई है।
मुंबई में अप्रैल-जून में कार्यालय स्थल को पट्टे पर लेने का सकल आंकड़ा सालाना आधार पर नौ प्रतिशत गिरकर 27.3 लाख वर्गफुट रह गया।
दुनिया की सबसे मजबूत अर्थव्यवस्थाएं आर्थिक मंदी की चपेट में हैं। यूरोप में ब्रिटेन के बाद जर्मनी की अर्थव्यवस्था भी दरक रही है, अमेरिका के हालात भी अच्छे नहीं हैं। इसका असर भारत पर निर्यात के मोर्चे पर दिखाई दे रहा है।
IMF Recession: 6 अप्रैल को आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने भी कहा था कि अमेरिकी बैंक के दिवालिया होने से महंगाई पर असर पड़ा है। अब आईएमएफ ने भी मुहर लगा दी है।
Bank System Failure: अमेरिका के बैंकों में वहां के स्टार्टअप ने पैसा जमा किया हुआ था। आर्थिक अस्थिरता के बीच स्टार्टअप्स ने पैसा निकालना शुरू कर दिया। बैंक के पास पैसे नहीं थे। इसलिए डूब गए। अब उसे बचाने के लिए पैसे डाले जा रहे हैं। कितना खर्च आ रहा है। जान लीजिए।
Stock Market News: यह हफ्ता अमेरिका के साथ भारतीय शेयर बाजार के लिए भी ठीक नहीं दिख रहा है। अमेरिका में एक के बाद एक बैंक दिवालिया घोषित हो रहे हैं। आज क्रेडिट सुईस को लेकर भी बड़ी खबर आई है, जिसमें उसे तगड़ा नुकसान हुआ है। इसका असर कल भारतीय शेयर बाजार पर देखा जा सकता है। आइए मामला समझते हैं।
अधिकारियों ने कहा कि शिलान्यास समारोह के लिए तैयारियां पहले ही शुरू हो चुकी हैं। विदेशी निवेशकों की मदद के लिए जल्द ही एक कॉल सेंटर भी शुरू किया जाएगा।
उत्तर प्रदेश अपने इंफ्रास्ट्रक्चर की मजबूती के साथ दुनिया भर के कारोबारियों को आकर्षित कर रहा है। यूपी अपने डिफेंस कॉरिडोर, नोएडा के आईटी हब और पर्यटन की संभावनाओं के साथ दुनिया भर में निवेश का केंद्र बन रहा है।
सोमवार को डब्ल्यूईएफ के मुख्य अर्थशास्त्री पूर्वानुमान सर्वेक्षण में कहा कि 2023 में वैश्विक मंदी आने की आशंका है। हालांकि, इस दौरान खाद्य, ऊर्जा और मुद्रास्फीति का दबाव चरम पर पहुंच सकता है।
Unemployment Hits 50 Year Low in US and Inflation Bent: दुनिया भर में छाई वैश्विक मंदी के बीच अमेरिका से अच्छी खबर आई है। दिसंबर के महीने में अमेरिका में बेरोजगारी दर 50 साल के सबसे निचले स्तर पर आ गई है।
मुख्यमंत्री योगी ने बैंकिंग जगत के प्रतिनिधियों से कहा कि 2017 में जब हमारी सरकार बनी तब प्रदेश की माली हालत बहुत खराब थी।
आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश में होने वाले वैश्विक निवेशक सम्मेलन से पहले राज्य सरकार को अमेरिका और कनाडा के निवेशकों से कई सहमति पत्र मिले हैं।
इस साल मंदी आने जा रही है, जिसके चपेट में दुनिया के अधिकतर देश आएंगे। IMF ने इसको लेकर चेतावनी भी दी है। भारत के लिए चिंता करने वाली बात है।
ये साल भी अब खत्म होने वाला है। 2022 इतिहास के पन्नों पर कुछ अच्छे तो कुछ बूरे बातों को लेकर हमेशा याद किया जाएगा, लेकिन नया साल देश और दुनिया में खुशियों की जगह कितना गम लाने जा रहा है, क्या इसके बारे में आपने कभी अंदाजा लगाया है? यहां पढ़िए डिटेल स्टोरी।
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