राष्ट्रीय कंपनी विधि अपील अधिकरण (NCLAT) ने जेएसडब्ल्यू स्टील को 19,700 करोड़ रुपये में भूषण पावर एंड स्टील लिमिटेड के अधिग्रहण की सोमवार को अनुमति दे दी।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने भूषण पावर एंड स्टील लिमिटेड (बीपीएसएल) के खिलाफ एक कथित बैंक ऋण धोखाधड़ी से संबंधित मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में में अपना पहला आरोप-पत्र दायर किया है।
शनिवार को कोर्ट ने भूषण पावर एंड स्टील लिमिटेड (बीपीएसएल) के पूर्व चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक (सीएमडी) संजय सिंघल को 7 दिन की रिमांड पर भेजा दिया है।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने कथित बैंक रिण धोखाधड़ी से जुड़े धनशोधन मामले की जांच के सिलसिले में भूषण पावर एंड स्टील लिमिटेड (बीपीएसएल) की 4,025 करोड़ रुपए की संपत्ति कुर्क की है।
राष्ट्रीय कंपनी विधि अपीलीय न्यायाधिकरण (एनसीएलएटी) जेएसडब्ल्यू स्टील की याचिका पर 14 अक्टूबर को सुनवाई करेगा। कंपनी ने अपनी याचिका में भूषण पावर एंड स्टील लिमिटेड के खिलाफ चल रहे मनी लांड्रिंग के मामलों में राहत देने का आग्रह किया है।
एनसीएलटी ने इस मामले में जेएसडब्ल्यू और उसके पूर्ववर्ती प्रवर्तकों द्वारा सौंपी गई बोली को लेकर टाटा स्टील की आपत्तियों को भी खारिज कर दिया।
जेएसडब्ल्यू स्टील ने बीपीएसएल के लिए अपनी बोली को 11,000 करोड़ रुपए से बढ़ाकर 18,000 करोड़ रुपए किया था और बाद में इसे बढ़ाकर 19,000 करोड़ रुपए से अधिक कर दिया था।
पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) के बाद अब इलाहाबाद बैंक ने शनिवार को कहा कि उसे भूषण पावर एंड स्टील लिमिटेड (बीपीएसएल) ने 1,774.82 करोड़ रुपये की चपत लगाई है।
सीबीआई ने रविवार को भूषण पावर एंड स्टील लिमिटेड से जुड़े 18 स्थानों पर छापे मारे।
टाटा स्टील, लिबर्टी हाउस तथा जेएसडब्ल्यू ने कर्ज के बोझ से दबी भूषण पावर एंड स्टील लि. के अधिग्रहण के लिये दूसरी बार नये सिरे से बोलियां सौंपी हैं। मामले से जुड़े सूत्रों ने यह जानकारी दी।
राष्ट्रीय कंपनी विधि अपीलीय न्यायाधिकरण (एनसीएलएटी) ने कर्ज के बोझ से दबी भूषण पावर एंड स्टील के ऋणदाताओं को बैठक करने की अनुमति दे दी है।
ब्रिटेन के लिबर्टी हाउस ने भूषण पावर एंड स्टील की ऋणदाताओं की समिति (सीओसी) और निपटान पेशेवरों के खिलाफ राष्ट्रीय कंपनी विधि अपीलीय न्यायाधिकरण (NCLAT) में अपील दायर की है। लिबर्टी हाउस ने कंपनी के लिए लगाई गई बोली को अंतिम रूप दिए जाने की प्रक्रिया की जानकारी मांगी है।
भूषण स्टील और इलेक्ट्रोस्टील स्टील के सफलतापूर्वक एनपीए समाधान के बाद टेक्सटाइल कंपनी आलोक इंडस्ट्रीज भी कर्ज समाधान के अंतिम चरण में पहुंच गई है।
राष्ट्रीय कंपनी कानून अपीलीय न्यायाधिकरण (एनसीएलएटी) ने आज टाटा स्टील से पूछा है कि क्या वह भूषण स्टील के आयकर व जीएसटी जैसे सांविधिक बकायों का भुगतान करेगी। टाटा स्टील ने ऋण शोधन प्रक्रिया के तहत इसी महीने भूषण स्टील का अधिग्रहण पूरा किया है।
निजी क्षेत्र के यस बैंक ने दिवालिया कंपनी भूषण स्टील को टाटा स्टील को बेचे जाने से 184 करोड़ रुपए वसूल किए। इसी के साथ बैंक की कुल वसूली 216 करोड़ रुपए हो गयी, जो भूषण स्टील के लिए किए गए उसके वास्तविक दावे (325 करोड़ रुपए) का 66 प्रतिशत है।
कर्ज में डूबी भूषण स्टील को टाटा स्टील की पूर्ण स्वामित्व वाली बमनीपाल स्टील लिमिटेड द्वारा खरीदने से सबसे अधिक फायदा देश के सबसे बड़े बैंक भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) को होगा।
राष्ट्रीय कंपनी विधि अपीलीय न्यायाधिकरण (NCLT) ने कर्ज के बोझ से दबी भूषण स्टील के टाटा स्टील द्वारा अधिग्रहण पर रोक से इनकार कर दिया है। भूषण स्टील इस समय दिवाला एवं ऋण शोधन अक्षमता संहिता (IBC) के तहत है। NCLT की चेयरमैन न्यायमूर्ति एस जे मुखोपाध्याय की अगुवाई वाली पीठ ने टाटा स्टील , निपटान पेशेवरों तथा भूषण स्टील की ऋणदाताओं की समिति (COC) को कंपनी के प्रवर्तक नीरज सिंघल की याचिका पर नोटिस जारी किया है। सिंघल ने इस बिक्री को चुनौती दी है।
वित्तीय सेवा सचिव राजीव कुमार ने सोमवार को कहा कि दिवाला एवं ऋण शोधन अक्षमता संहिता (IBC) की रूपरेखा के तहत भूषण स्टील के अधिग्रहण से सार्वजनिक बैंकों के डूबे कर्ज में 35,000 करोड़ रुपए तक की कमी आएगी।
पिछले हफ्ते टाटा स्टील की कंपनी बामनीपाल स्टील लिमिटेड ने 36,400 करोड़ रुपये का भुगतान कर भूषण स्टील में जो 72.65 प्रतिशत हिस्सेदारी खरीदी है उस डील से भारतीय स्टेट बैंक को 8830 करोड़ रुपए मिलेंगे। खुद SBI के चेयरमैन रजनीश कुमार ने मीडिया को इसकी जानकारी दी है। SBI ने भूषण स्टील को कुल 11619 करोड़ रुपए का कर्ज दिया हुआ था लेकिन SBI का यह कर्ज NPA घोषित हो गया था।
बैंकों को फंसे कर्ज से मुक्ति दिलाने के लिए केंद्र सरकार ने जो दिवाला शोधन प्रक्रिया शुरू की है उसके तहत पहली सफलता हाथ लगी है। शुक्रवार को टाटा स्टील की तरफ से कर्ज में फंसी भूषण स्टील में हिस्सा खरीद की घोषणा के बाद भूषण स्टील में बैंकों के फंसे अरबों रुपए वापस मिलने का रास्ता साफ हो गया है।
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