केंद्र सरकार सार्वजनिक क्षेत्र की एयरलाइन एयर इंडिया के विनिवेश को लेकर प्रतिबद्ध है और एयरलाइन के दक्ष तरीके से परिचालन के लिए प्रबंधन द्वारा योजना तैयार की जा रही है। नागर विमानन मंत्रालय ने आज यह बात कही।
एयर इंडिया की बिक्री को लेकर जारी अनिश्चितता का दौर लगभग खत्म हो चुका है। सूत्रों की मानें तो केंद्र सरकार ने फिलहाल सरकारी विमानन कंपनी एअर इंडिया की बिक्री की योजना टाल दी है।
सरकार कर्ज में डूबी एयर इंडिया की विनिवेश प्रक्रिया को इस साल आगे बढा़ना जारी रखेगी और संशोधित बोली नियमों को जल्दी ही अंतिम रूप दिया जा सकता है।
एयर इंडिया में अपनी हिस्सेदारी बेचने में जुटी सरकार की कोशिशों को बड़ा झटका लगा है। आज एयर इंडिया की हिस्सेदारी खरीदने के लिए बोली लगाने का आखिरी दिन था। लेकिन अभी तक किसी भी प्राइवेट कंपनी ने हिस्सेदारी लेने के लिए बोली नहीं लगाई है।
एयर इंडिया की हिस्सेदारी बिक्री के लिए भले ही अभी तक कोई निविदा न आयी हो किन्तु सरकार ने बुधवार को उम्मीद जतायी कि औपचारिक बोली प्रक्रिया खत्म होने के अंतिम दिन कल तक अच्छी प्रतिक्रिया मिलेगी।
किफायती दर पर विमान सेवा देने वाली इंडिगो तथा एयर इंडिया एक्सप्रेस अंतरराष्ट्रीय संपर्क सुविधा उपलब्ध कराने वाली दुनिया की शीर्ष पांच सस्ती एयरलाइंस में शामिल हैं।
नागर विमानन मंत्रालय विमान ईंधन एटीएफ को माल एवं सेवा कर (जीएसटी) के तहत लाने के लिए जीएसटी परिषद से संपर्क करेगा। नागर विमानन राज्यमंत्री जयंत सिन्हा से मुलाकात के बाद एक एयरलाइन के वरिष्ठ अधिकारी ने आज यह संकेत दिया।
एयर इंडिया ने वित्त वर्ष 2017-18 (मार्च–अप्रैल) में कमाई में 20 प्रतिशत वृद्धि दर्ज की है और कंपनी प्रति विमान उड़ान की अवधि बढ़ाने की योजना बना रही है। एयर इंडिया के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक प्रदीप सिंह खरोला ने कहा कि उनकी एयरलाइन इस समय अपने उड़ान मार्गों का विश्लेषण कर रही है और उसका प्रयास है कि प्रति विमान उड़ान की अवधि बढ़ायी जा सके और ज्यादा उड़ानें परिचालित की जा सकें
निजीकरण की तैयारियों तथा बढ़ते घाटे के बावजूद सार्वजनिक क्षेत्र की विमानन कंपनी एयर इंडिया आरक्षित श्रेणी में 270 सह- पायलटों की नियुक्ति की तैयारी कर रही है।
अब जेट एयरवेज राष्ट्रीय विमानन कंपनी एयर इंडिया के अधिग्रहण की दौड़ से बाहर हो गई है। जेट एयरवेज ने आज कहा कि वह एयर इंडिया के विनिवेश की प्रक्रिया में शामिल नहीं होगी।
सरकार की एयर इंडिया में 76 प्रतिशत हिस्सेदारी बेचने की योजना है। सरकारी विमानन कंपनी में रणनीतिक विनिवेश पर आज जारी प्रारंभिक सूचना ज्ञापन में यह कहा गया है।
वित्त वर्ष 2016-17 के दौरान बीएसएनएल, एमटीएनएल और एयर इंडिया सबसे ज्यादा नुकसान में रहने वाली सरकारी कंपनियां रही हैं। वहीं इंडियन ऑयल, ओएनजीसी और कोल इंडिया सर्वाधिक मुनाफे में रहने वाली कंपनियां रहीं।
सरकारी विमानन कंपनी एयर इंडिया का ट्विटर हैंडल गुरुवार तड़के हैक हो गया था लेकिन कंपनी ने बयान जारी कर इसके बहाल होने का ऐलान कर दिया है। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि एयर इंडिया ने मामले की जांच शुरू कर दी है।
सरकार को उम्मीद है कि एयर इंडिया के निजीकरण की प्रक्रिया इस साल के अंत तक पूरी हो जाएगी।
एयर इंडिया ने अपनी सभी घरेलू उड़ान सेवाओं में महिलाओं के लिए सीटों की एक पूरी लाइन आरक्षित करने की घोषणा की है
एयर इंडिया के विनिवेश की दिशा में आगे बढ़ रही सरकार इस विमानन कंपनी के कर्मचारियों को सार्वजनिक क्षेत्र के अन्य उपक्रमों में भेजने या उन्हें स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति (VRS) पैकेज देने की तैयारी कर रही है।
एयर इंडिया में सरकार की 49 प्रतिशत हिस्सेदारी बेचने के लिए भी कैबिनेट ने अपनी मंजूरी दे दी है।
सरकारी विमानन कंपनी एयर इंडिया बिजनेस क्लास में सफर करने वालों को अंतरराष्ट्रीय उड़ान की तरफ आकर्षित करने के लिए अपने प्रीमियम यात्रियों को यात्रा के दौरान लैपटॉप उपलब्ध कराने पर विचार कर रही है।
एक संसदीय समिति ने सरकार से कहा है कि सार्वजनिक विमानन कंपनी एयर इंडिया के विनिवेश का यह सही समय नहीं है। समिति एयर इंडिया को उबरने के लिए कम से कम पांच साल देने तथा उसका ऋण माफ करने का सुझाव भी दे सकती है।
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