Adani-Hindenburg मामले पर 3 जनवरी को सुप्रीम कोर्ट फैसला दे सकता है। हिंडनबर्ग ने अडानी ग्रुप पर कथित वित्तीय गड़बड़ी का आरोप लगाया था, जिसे ग्रुप की ओर से खारिज कर दिया गया था।
संयुक्त उद्यम में 1,050 मेगावाट का पोर्टफोलियो है जिसमें भारत में सौर और पवन ऊर्जा दोनों परियोजनाओं के मिश्रण के साथ पहले से ही चालू (300 मेगावाट), निर्माणाधीन (500 मेगावाट) और विकासाधीन परिसंपत्तियों (250 मेगावाट) का मिश्रण शामिल है। इस लेन-देन के साथ टोटलएनर्जीज़ ने एजीईएल के साथ अपने रणनीतिक गठबंधन को मजबूत किया है।
कंपनी ने वर्ष 2030 तक 45 गीगावाट हरित ऊर्जा क्षमता का लक्ष्य तय किया हुआ है। उसके निदेशक मंडल ने प्रवर्तकों को 1,480.75 रुपये प्रति शेयर के भाव पर 9,350 करोड़ रुपये की राशि के तरजीही वारंट जारी करने की मंजूरी दे दी है।
अडानी ग्रीन एनर्जी ने सोलर एनर्जी कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया के साथ एक डील की है। यह डील 1,799 मेगावाट सौर ऊर्जा की आपूर्ति के लिए हुई है। भारत का साल 2030 तक 500 गीगावॉट (एक गीगावाट 1,000 मेगावाट) ग्रीन फ्यूल कैपेसिटी हासिल करने का लक्ष्य है।
अडाणी ग्रुप ने हिंंडनबर्ग की रिपोर्ट को गलत सूचना, आधारहीन और बदनाम करने के आरोपों का पुलिंदा बताया था। जांच में ये बातें सही साबित हुई। भारत की सर्वोच्च अदालतों द्वारा आरापों को खारिज कर दिया गया है। इसमें कहा गया है कि शॉर्ट-सेलर का उद्देश्य भारत और उसकी विकास महत्वाकांक्षा पर एक सोचा-समझा हमला था।
प्रणव अदाणी ने कहा कि बिहार में हम जिस दूसरे क्षेत्र में प्रवेश कर रहे हैं वह सीमेंट मैन्यूफैक्चरिंग है। हम दो जगहों, वारसलीगंज और महावल, में 2,500 करोड़ रुपये का निवेश करेंगे। हमारा टारगेट है सालभर में 10 मिलियन मीट्रिक टन का प्रोडक्शन। सीमेंट में हमारे इन्वेस्टमेंट से लगभग 3,000 नौकरियां पैदा होने की उम्मीद है।
आपको बता दें कि पिछले कुछ दिनों में अडाणी ग्रुप की कंपनियों के शेयरों में जोरदार तेजी दर्ज की गई है। इसके चलते ग्रुप कंपनियों का मार्केट कैप 14.68 लाख करोड़ के पार पहुंच गया है। इस तेजी गौतम अडाणी तेजी से अमीरों की सूची में ऊपर आ गए हैं।
जनवरी के अंत में आई हिंडनबर्ग रिपोर्ट में अडाणी समूह पर कंपनियों के शेयरों की कीमतों में हेराफेरी और वित्तीय गड़बड़ियां करने के आरोप लगाए गए थे। हालांकि, समूह ने इन सभी आरोपों को नकारा दिया था।
Adani Group पर हिंडनबर्ग के आरोपों को अमेरिकी जांच एजेंसी ने गलत बताया है। शॉर्ट सेलर फर्म ने जनवरी में अडानी ग्रुप पर कंपनियों में फंड की हेराफेरी करने के आरोप लगाए थे।
एआईसीटीपीएल मुंदड़ा में अडाणी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकोनॉमिक जोन (एपीएसईजेड) का एक संयुक्त उद्यम टर्मिनल है। एआईसीटीपीएल एक महीने में 3,00,000 से अधिक कंटेनर की आवाजाही का प्रबंधन करने वाला भारत का पहला टर्मिनल बन गया है।
Adani Group के शेयरों में चुनावी परिणाम आने के बाद तेजी देखने को मिल रही है। इस कारण ग्रुप का मार्केट कैप 12 लाख करोड़ के ऊपर पहुंच गया है।
आपको बता दें कि शुक्रवार को उच्चतम न्यायालय ने कहा था कि हिंडनबर्ग रिपोर्ट में अडाणी समूह के खिलाफ लगे आरोपों की जांच करने वाले बाजार नियामक सेबी पर संदेह करने की कोई वजह नहीं है। उसने कहा कि बाजार नियामक की जांच के बारे में भरोसा नहीं करने के लायक कोई भी तथ्य उसके समक्ष नहीं है।
अडाणी ग्रुप ने उत्तराखंड की सिलक्यारा सुरंग को लेकर सोशल मीडिया पर समूह का नाम गलत तरीके से घसीटने का खंडन किया है। ग्रुप की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि सुरंग निर्माण करने वाली कंपनी से अडाणी ग्रुप का कोई संबंध नहीं है।
अमेरिकी शॉर्ट सेलर कंपनी हिंडनबर्ग के आरोपों को पीछे छोड़ते हुए अडाणी ग्रुप एक बार फिर छलांग लगाना शुरू कर दी है। ग्रुप कंपनियां बेहतर काम कर रही है। वहीं, देश के साथ विदेशों से कंपनियों को ऑर्डर मिलने शुरू हो गए हैं।
इजरायल पर हमास के हमले के बाद अडाणी पोर्ट्स के शेयरों में बड़ी गिरावट आ गई। बाजार बंद होने पर शेयर 5.09% की गिरावट के साथ 788.50 रुपये में बंद हुआ। आपको बता दें कि इसी साल अडाणी ग्रुप ने इजरायल में हइफा बंदरगाह को करीब 1.18 अरब डॉलर में अधिग्रहण किया था।
पिछले 25 साल एक शानदार यात्रा रही हैं, और अब हम मुंद्रा पोर्ट के विकास में एक और अध्याय शुरू करने के लिए तैयार हैं। अदाणी ग्रुप इनगॉट, विंड-टेक, पेट्रोकेमिकल्स और कच्छ कॉपर जैसी परिवर्तनकारी प्रोजेक्ट पर काम कर रहा है, जो इस क्षेत्र के नामको को फिर से नए फलक पर लाएगा।
कंपनी ने सोमवार को बयान में कहा, ‘‘खारघर विक्रोली ट्रांसमिशन लिमिटेड (केवीटीएल) चालू हो गई है। यह मुंबई में अतिरिक्त बिजली लाने के साथ शहर की बढ़ती बिजली मांग को पूरा करने में सक्षम होगी।’’ केवीटीएल, अडाणी एनर्जी सॉल्यूशंस लि. की विशेष उद्देश्यीय इकाई है।
हिंडनबर्ग ने अडाणी समूह पर बही-खातों में धोखाधड़ी और शेयरों के भाव में गड़बड़ी के साथ विदेशी इकाइयों के अनुचित उपयोग का आरोप लगाया था। इसके बाद कंपनी के शेयरों में गिरावट आई थी। हालांकि कंपनी ने इन आरोपों को पूरी तरह से खारिज किया है।
हिंडनबर्ग की जनवरी में रिपोर्ट आने के बाद से टोटल का अडाणी समूह में यह पहला निवेश है। रिपोर्ट में अडाणी समूह पर लेखा और शेयरों में धोखाधड़ी का आरोप लगाया गया था। टोटल कंपनी के साथ मिलकर संयुक्त उद्यम के गठन को लेकर स्वयं या अपनी सहयोगी इकाइयों के जरिये 30 करोड़ डॉलर का और निवेश करेगी।
अडानी मामले पर अगली सुनवाई 13 अक्टूबर को होने वाली है। दरअसल 24 जनवरी को अमेरिकी निवेश एवं शोध फर्म हिंडनबर्ग रिसर्च ने अडाणी समूह के शेयरों में बेहिसाब तेजी के लिए हेराफेरी और वित्तीय धांधली के आरोप लगाए थे। इसके बाद से समूह की कंपनियों के बाजार मूल्यांकन में करीब 150 अरब डॉलर तक की भारी गिरावट आ गई थी।
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