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इंश्योरेंस पॉलिसी लेते वक्‍त ध्‍यान रखें ये 7 बातें

We take Insurance policy for our family benefit. but many times we ignore insurance need. These seven steps will help you to take good decision.

Sachin Chaturvedi @sachinbakul
Published : March 23, 2016 8:14 IST
Optimum Coverage: अपने परिवार को दें Insurance की पूरी सुर‍क्षा, पॉलिसी लेते वक्‍त ध्‍यान रखें ये 7 बातें
Optimum Coverage: अपने परिवार को दें Insurance की पूरी सुर‍क्षा, पॉलिसी लेते वक्‍त ध्‍यान रखें ये 7 बातें

नई दिल्‍ली। अच्‍छा या खराब वक्‍त कभी हमारे हाथ में नहीं होता। यदि आपका परिवार आप पर निर्भर है, तो आपके अच्‍छे और खराब समय का सीधा असर आपके आश्रितों पर भी पड़ता है। अपने परिवार को इस मुश्किल समय में सुरक्षा देने के लिए हम इंश्‍योरेंस पॉलिसी लेते हैं। लेकिन आज दर्जनों Insurance कंपनियों की आक्रामक मार्केटिंग और टैक्‍स सेविंग की हड़बड़ी के चलते हम इंश्‍योरेंस लेते वक्‍त सही निर्णय नहीं कर पाते। अक्‍सर हम ऐसी Insurance पॉलिसी का प्रीमियम कई साल तक भरते रहते हैं जो अनहोनी के वक्‍त परिवार को सुरक्षा भी न दे पाए। यही ध्‍यान में रखते हुए इंडिया टीवी पैसा की टीम आपके लिए कुछ ऐसे टिप्‍स पेश कर रही है, जिन्‍हे आजमाकर आप सही Insurance पॉलिसी खरीदते में सफल हो सकते हैं।

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अपनी जरूरत की गणना करें

Insurance लेते वक्त सबसे मुश्किल काम सटीक राशि का पता लगाना है। यह बहुत अहम है क्योंकि अगर गलत गणना करते हैं तो भविष्‍य में परिवार को परेशानी का सामना करना पड़ता है। आपकी ओर से राशि का चयन ही बताता है कि आप पर कितने लोग आश्रित हैं। खरीदते वक्त अपने लाइफस्टाइल और भविष्य की जरूरतों को जैसे कि शादी आदि को ध्यान में रखें। सामान्‍य रूप से आप अपनी वार्षिक आय का 10 से 15 गुना राशि का इंश्‍योरेंस लेते हैं, तो आपको सुरक्षित माना जा सकता है।

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कॉस्ट फैक्टर का रखें ध्यान

आज के समय इंश्‍योरेंस कंपनियां मार्केटिंग की आड़ में असल खर्चों को आपसे छिपा जाती हैं। ऐसे में पॉलिसी लेते वक्‍त सभी चार्जेस में प्रीमियम चार्जेस, एडमिनिस्ट्रेशन फीस, मोर्टेलिटी चार्ज, फंड मैनेजमेंट चार्ज और राइडर चार्ज का ध्यान रखें। इंश्योरेंस रेगुलेटर या इरडा ने इंश्योरेंस पॉलिसी को इंवेस्टर फ्रैंडली बनाने के लिए हाल ही में इन सभी चार्जेस के संबंध में कई बदलाव किए हैं। किसी एजेंट के पॉलिसी खरीदने से पहले एक बार ऑनलाइन चेक कर लें कि पॉलिसी की असल कीमत क्या है। साथ ही बाजार में मौजूद एक जैसे प्रोडक्ट्स और इनसे जुड़ी कीमतों की तुलना करें। एक बात का ध्यान रखें कि कभी भी पॉलिसी सस्ती होने की वजह से न खरीदें।

तस्वीरों में देखिए टैक्स सेविंग प्रोडक्ट्स

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अपने इंश्योरर को जाने

हम इंश्योरेंस खुद को और अपने परिवार को सुरक्षित रखने के लिए खरीदते हैं ताकि मुसीबत के वक्त आर्थिक रूप से तंगी का सामना न करना पड़े। पॉलिसी खरीदने से पहले अपने रिश्तेदार, दोस्तों और अपने सह कर्मियों से एक बार पहले पूछ लें कि विभिन्न इंश्योरेंस कंपनी के कितने पैसे हैं। यह भी जांच लें कि क्लेम सेटलमेंट रेश्यो कितनी है। अगर 100 लोगों ने क्लेम सब्मिट किया है और 80 का भुगतान कर दिया गया है तो रेश्यो 80 फीसदी है। रेश्यो जितनी ऊंची होगी है उतनी बेहतर है।

ऑफर्स पर राइडर्स को चेक कर लें

ऑफर्स पर राइडर्स देख लें और यह भी पता लगा लें कि यह कितने पैसों की है। कई इंश्योरेंस कंपनियां एक्सिडेंटल डेथ राइर जैसे राइडर उपलब्ध कराती है। इस राइडर में अगर एक्सिडेंट के दौरान मृत्यु हो जाती है तो कलर को दो गुना कर दिया जाता है। इंश्योरेंस कंपनी की ओर से दिए गे डॉक्यूमेंट्स को एक बार जरूर पढ़ लें। ऐसा करने से क्लेम के दौरान किसी भी तरह का कोई संशय नहीं रहता। अपने डॉक्यूमेंट में अमाउंट, कवर का टर्म, डिडक्टिबल चार्जेस आदि को रिव्यू कर लें। एग्रीमेंट को ध्यान से पढ़ें ताकि आपको यह पता हो कि पॉलिसी में क्या कवर होगा और क्या नहीं।

कई सारी पॉलिसी खरीदने के चक्कर में न पड़े

कई सारी पॉलिसी खरीदना बिलकुल भी समझदारी का कदम नहीं है। ऐसा तब होता है जब कोई व्यक्ति सेक्शन 80 सी की लिमिट को पाना चाहता हो। कई पॉलिसी को मैनेज करना भी मुश्किल होता है। आप अक्सर उसकी प्रीमियम ड्यू डेट भूल जाते हैं। देरी से भुगतान करने वाले चार्जेस से बचने के लिए ईसीएस विकल्प का चयन करें।

मदद लेने से कभी न घबराएं

सही पॉलिसी का चयन करने के लिए एजेंट एडवाइडर या फिर सर्टिफाइड फाइनेंशियल एडवाइजर की सलाह लें। वे आपको पूरी प्रक्रिया समझाते हैं।

अपनी जरूरतों को ध्यान करें

कभी कभी होता है कि स्थिति में बदलाव आ जाए। उदाहरण के तौर पर मान लीजिए आपने पॉलिसी अपनी शादी के समय खरीदी थी और अब आपके एक बच्चा भी है। ऐसे में आपको इंश्योर्ड अमाउंट रिव्यू करनी पड़ेगी। अपनी पॉलिसी का कार्यकाल याद रखें।

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