Mutual Funds: लंबी अवधि में वेल्थ क्रिएशन कैसे होता है, इसका जीता जागता उदाहरण HDFC ELSS Tax Saver स्कीम है। इस स्कीम के लॉन्च के समय इसमें निवेश करने वाले निवेशक अब करोड़पति बन गए हैं। आपको बता दें कि अगर किसी निवेशक ने इस स्कीम में एक साल पहले ₹1 लाख का निवेश किया होता, तो AMC की वेबसाइट पर मौजूद डेटा के अनुसार, 31 जुलाई 2024 तक यह बढ़कर ₹1.45 लाख हो गया होता। वहीं, तीन साल पहले किया गया निवेश 26.62 प्रतिशत की दर से बढ़कर ₹2.03 लाख हो गया होता।
पांच साल की अवधि में यही निवेश बढ़कर 2.74 लाख रुपये हो गया होता। इसी तरह, अगर किसी निवेशक ने 31 मार्च, 1996 को इस स्कीम के लॉन्च के समय 1 लाख रुपये निवेश किया गया होता, तो वह अब बढ़कर 3.41 करोड़ रुपये हो गया होता।
इस म्यूचुअल फंड स्कीम के बारे में
यह स्कीम 31 मार्च, 1996 को लॉन्च हुआ था। इस स्कीम में टॉप 10 होल्डिंग्स आईसीआईसीआई बैंक, एक्सिस बैंक, सिप्ला, भारती एयरटेल, एचसीएल टेक्नोलॉजीज, एचडीएफसी बैंक, हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, एसबीआई लाइफ इंश्योरेंस और अपोलो हॉस्पिटल्स एंटरप्राइज हैं। न्यूनतम एसआईपी ₹500 है। योजना की प्रबंधनाधीन परिसंपत्तियां (एयूएम) ₹16,422 करोड़ हैं।
ऐसे चुनें बेस्ट म्यूचुअल फंड स्कीम
म्यूचुअल फंड स्कीम का चुनाव ही आपको बंपर रिटर्न दिलाने की कुंजी है। अगर आप सही फंड चुनेंगे तो ही वह बंपर रिटर्न देगा। इसलिए किसी भी स्कीम में पैसा लगाने के लिए फंड का चुनाव करने में काफी सावधानी बरतें। आप अपने वित्तीय लक्ष्यों और जोखिम लेने की क्षमता को समझकर, ही फंड चुनें। म्यूचुअल फंड विभिन्न प्रकार के स्कीम उपलब्ध हैं, जिनमें इक्विटी फंड, डेट फंड, हाइब्रिड फंड और थीमैटिक फंड शामिल हैं। अपनी जरूरत के अनुसार फंड चुनें। इसके अलावा म्यूचुअल फंड के ऐतिहासिक प्रदर्शन को देखें। फंड मैनेजर और फंड हाउस के बारे में पता करें। फिर एक्सपेंस रेश्यो और एग्जिट लोड का आकलन करें।