नई दिल्ली। बैंक में खाता खुलवाने से लेकर तमाम छोटे बड़े वित्तीय लेनदेनों में काम आने वाला पैनकार्ड निश्चित तौर पर एक बहुत महत्वपूर्ण चीज है। इनकम टैक्स डिपार्टमेंट में आपकी नुमाइंदगी पैन कार्ड ही करता है। अगर आप के पास पैन कार्ड नहीं तो मान लीजिए कि आयकर दफ्तर की फाइलों में आपका अस्तित्व ही नहीं है। समझ लीजिए इनकम टैक्स डिपार्टमेंट की पहली सी़ढ़ी ही पैन कार्ड है। ऐसे में पैन कार्ड बनवाना निश्चित तौर पर एक बुनियादी जरूरत है। लेकिन अगर आपके पास पैनकार्ड नहीं है, तो ऐसा भी नहीं कि आपके काम अटक जाएंगे। इसकी व्यवस्था आयकर विभाग ने फार्म 60 और 61 के माध्यम से कर रखी है। ये दोनों ही फार्म पैनकार्ड की गैर मौजूदगी में वैकल्पिक व्यवस्था के रूप में उपलब्ध हैं।
समझ लीजिए फार्म 60 और फार्म 61 में अंतर क्या है : फार्म 60 और फार्म 61 का प्रयोग करने से पहले इनके बीच में अंतर समझना बहुत जरूरी है। आयकर कानून के अनुसार वे व्यक्तिगत टैक्सपेयर जिनके पास पैनकार्ड नहीं है, वे अपने पैन कार्ड की जगह फार्म 60 जमा कर सकते हैं। वहीं वे व्यक्तिगत टैक्सपेयर जिनके पास सिर्फ आय के साधान के रूप में सिर्फ एग्रीकल्चर से प्राप्त इनकम होती, उन्हें अपने ट्रांजेक्शन के साथ पैन कार्ड की जगह फार्म 61 भरना होगा।
इस तरह भरें फार्म 60 और 61: इनकम टैक्स डिपार्टमेंट द्वारा एक फॉरमेट निश्चित किया गया है। इसमें आपको अपने नाम, ट्रांजेक्शन डिटेल के साथ ही असेसमेंट इयर के लिए इनकम टैक्स रिटर्न की डिटेल भरनी होती हैं। इसके साथ ही आपको जिस वार्ड, सर्किल या रेंज से रिटर्न फाइल किया गया था, उसकी भी जानकारी भरनी होती है। इसके साथ ही आपको पैन कार्ड नहीं बनवाने का भी कारण भरना पड़ता है। फार्म 60 और 61 के साथ ही आपको राशनकार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट, बिजली बिल जैसे रेजिडेंशियल प्रूव भी सबमिट करना होता हैं।
यहां जरूरी है पैन कार्ड या फार्म 60 या 61: इनकम टैक्स की धार 139ए के तहत कुछ विशेष प्रकार के ट्रांजेक्शन के लिए पैनकार्ड या विकल्प के रूप में फार्म 60 या 61 होना जरूरी है।
- 5 लाख या उससे अधिक की जमीन या फिर अस्थाई संपत्ति की खरीदने पर।
- ऐसे किसी भी वाहन की खरीद पर जिसके लिए रजिस्ट्रेशन आवश्यक हो।
- बैंक में 50 हजार या उससे अधिक के फिक्स डिपॉजिट के लिए।
- 50 हजार या उससे अधिक के बैंक चैक, ड्राफ्ट, पेऑर्डर के नकद भुगतान
- बैंक खाते में 50 हजार या उससे अधिक राशि जमा करने पर
- 10 लाख रुपए से अधिक के शेयर खरीदने पर
- 25 हजार रुपए से अधिक के होटल बिल के भुगतान पर
- टेलिफोन या मोबाइल कनेक्शन लेते वक्त