नई दिल्ली। समय के साथ साथ भारतीय लंबी अवधि के निवेश को लेकर ज्यादा सजग हो रहे हैं। वित्त वर्ष 2019-20 में अब तक रिटायरमेंट पर आधारित म्यूचुअल फंड स्कीम में रिटेल निवेशकों ने जमकर निवेश किया है। एसोसिएशन ऑफ म्यूचुअल फंड्स के मुताबिक अप्रैल से जनवरी के बीच इस श्रेणी की स्कीम के एसेट अंडर मैनेजमेंट पिछले साल के मुकाबले 24.5 फीसदी बढ़ गए हैं। अवधि के दौरान एयूएम 10423 करोड़ रुपये के स्तर पर रहे हैं, वहीं पिछले साल की इसी अवधि के दौरान ये आंकड़ा 8376 करोड़ रुपये का था।
एसोसिएशन के चीफ एग्जिक्यूटिव एन एस वेंकेटेश के मुताबिक खुदरा निवेशक के बीच लंबी अवधि के निवेश को लेकर जागरुकता बढ़ रही है। उनके मुताबिक श्रेणी की योजनाओं में हर महीने के हिसाब से बढ़त देखने को मिल रही है जिससे साफ है कि छोटे निवेशक अब अपने भविष्य को लेकर ज्यादा सजग हो गए हैं। उनके मुताबिक बेहतर रिटर्न के लिए रिटायरमेंट स्कीम काफी अच्छा विकल्प है क्योकिं इसमें रकम इक्विटी और बॉन्ड्स में निवेश किया जाता है, जिससे निवेशकों को ग्रोथ और सुरक्षा दोनो के फायदे मिल जाते हैं। यही वजह है कि पीपीएफ और एफडी के साथ साथ लोग रिटायरमेंट पर आधारित म्यूचुअल फंड स्कीम को भी चुन रहे हैं।