आप भी मॉल या मल्टीप्लेक्स में कार या बाइक ले जाने पर भारी भरकम पार्किंग फीस अदा करते हैं तो यह खबर आपके लिए है। गुजरात हाईकोर्ट की खंडपीठ ने एक अहम फैसला देते हुए कहा है कि यदि मॉल और मल्टीप्लेक्स पार्किंग शुल्क लेते हैं तो यह सरासर गलत है। वे ऐसा नहीं कर सकते हैं। खंडपीठ ने संज्ञान लिया है कि सुविधा और सुरक्षा के नाम पर अब ग्राहकों से वसूली नहीं हो सकती। कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश अनन्त दवे और न्यायाधीश बिटेन वैष्णव की खंडपीठ ने उक्त फैसला दिया है।
गुजरात हाईकोर्ट की खंड पीठ ने यह निर्णय अल्फा वन मॉल की अपील पर सुनाया है। गौरतरब है क हाईकोर्ट की सिंगल बेंच ने भी यही फैसला सुनाया था। जिसके बाद अल्फा वन मॉल ने इस फैसले को खंडपीठ में चुनौती दी थी, जिसे खारिज कर दिया गया है।
फैसले में कहा गया था कि एक घंटे तक निशुल्क पार्किंग के बाद के समय के लिए मॉल और मल्टीप्लेक्स शुल्क वसूल कर सकते हैं। यह भी निर्देश दिया गया है कि सरकार पार्किंग फी के बारे में नीति निर्धारित करें।
क्या है मामला
गौरतलब है कि अहमदाबाद में ट्रैफिक व पार्किंग अभियान के तहत 21 जुलाई, 2018 को अहमदाबाद पुलिस कमिश्नर ने अधिसूचना जारी कर कहा था कि मॉल- मल्टीप्लेक्स में आने वालों से पार्किंग शुल्क वसूल करना गैरकानूनी है। अधिसूचना का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई का उल्लेख भी किया गया था। अधिसूचना को भंग करने के आरोप में ट्रैफिक पुलिस ने अल्फावन के खिलाफ नोटिस जारी किया था।
एक घंटे तक पार्किंग फ्री
ट्रैफिक पुलिस के नोटिस को अल्फावन के मालिक ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी, जिसमें हाईकोर्ट के सिगंल जज ने फैसला दिया था कि एक घंटे निशुल्क पार्किंग के बाद शुल्क वसूल किया जाएगा। साथ ही, यह भी कहा गया था कि सरकार पार्किंग https://hindi.indiatvnews.com/topic/shopping-mallनीति बनाए। एक घंटे के बाद मल्टीप्लेक्स संचालक दुपहिया मालिकों से 10 और कार मालिकों से 30 रुपये वसूल सकेंगे।