नई दिल्ली। सामान्य बीमा कंपनी फ्यूचर जनराली (Future Generali) ने एक नया हेल्थ प्रोडक्ट लॉन्च किया है, जो पूर्व वर्ष में नो क्लेम के लिए रिन्यूवल प्रीमियम पर फ्लैट 80 प्रतिशत डिस्काउंट की पेशकश करता है।
फ्चूचर जनराली इंडिया इंश्योरेंस के मैनेजिंग डायरेक्टर और चीफ एग्जीक्यूटिव अनूप राव ने कहा कि हेल्थ सुपर सेवर पॉलिसी पहले साल में नो क्लेम के लिए दूसरे और तीसरे वर्ष के रिन्यूवल प्रीमियम में 80 प्रतिशत का डिस्काउंट उपभोक्ताओं को दिया जाएगा। कंपनी के पास अभी 3 लाख से अधिक हेल्थ इंश्योरेंस उपभोक्ता हैं। कंपनी ने अपने उपभोक्ता आधार में वृद्धि के लिए यह आकर्षक पेशकश की है।
कंपनी अपने नए प्रोडक्ट को दो वेरिएंट्स 1एक्स और 2एक्स में पेश कर रही है, जिसके तहत पहले वेरिएंट्स में उपभोक्ताओं को पहले साल में नो-क्लेम बोनस के रूप में उसके बाद के वर्षों के प्रीमियम में फ्लैट 80 प्रतिशत डिस्काउंट दिया जाएगा। वहीं दूसरे वेरिएंट में व्यक्ति सम इंश्योर्ड के आधार पर परिवार के सदस्यों को 80 प्रतिशत अधिक कवरेज उपलब्ध कराया जाएगा। यह नया प्रोडक्ट एक दिन के नवजात से लेकर 70 वर्ष के वरिष्ठ नागरिक को कवर करता है।
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गैर-जीवन बीमा कंपनियों का प्रत्यक्ष प्रीमियम 6.7 प्रतिशत बढ़ा
गैर-जीवन बीमा कंपनियों का सकल प्रत्यक्ष प्रीमियम संग्रह जनवरी में 6.7 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 18,488.06 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। बीमा नियामक इरडा के आंकड़ों में इसकी जानकारी मिली। भारतीय बीमा विनियामक प्राधिकरण (इरडा) के आंकड़ों के अनुसार, सभी गैर-जीवन बीमा कंपनियों ने पिछले साल इसी महीने में 17,333.70 करोड़ रुपये का प्रत्यक्ष प्रीमियम जमा किया था। आंकड़ों के अनुसार, 25 सामान्य बीमा कंपनियों ने 2021 के पहले महीने में अपने सामूहिक प्रीमियम में 10.8 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की और यह 16,247.24 करोड़ रुपये पर पहुंच गया, जो जनवरी 2020 में 14,663.40 करोड़ रुपये रहा था।
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हालांकि, निजी क्षेत्र के पांच स्वास्थ्य बीमाकर्ताओं के प्रीमियम अंडरराइटिंग में जनवरी में 1.34 प्रतिशत की मामूली गिरावट दर्ज की गयी और यह 1,510.20 करोड़ रुपये पर आ गया। जबकि एक साल पहले यह 1,530.70 करोड़ रुपये था। उल्लेखनीय है कि साल भर पहले निजी क्षेत्र की सात स्वास्थ्य बीमा कंपनियां थीं। रिलायंस जनरल इंश्योरेंस द्वारा रिलायंस हेल्थ इंश्योरेंस पोर्टफोलियो के अधिग्रहण और एचडीएफसी एर्गो जनरल इंश्योरेंस के साथ एचडीएफसी एर्गो हेल्थ इंश्योरेंस के विलय से गिनती पांच हो गई है।
बीमाधारकों को दस्तावेजों की सुरक्षा के लिए डिजिलॉकर सुविधा दें बीमा कंपनियां
बीमा क्षेत्र के नियामक इरडा ने बीमा कंपनियों से अपने पॉलिसीधारकों को डिजिटल पॉलिसी जारी करने और इनका उपयोग करने का तरीका बताने को कहा है। नियामक ने कहा कि यह कदम न सिर्फ लागत कम करेगा बल्कि दावे को निपटाने की प्रक्रिया भी तेज करेगा।
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भारतीय बीमा विनियामक प्राधिकरण (इरडा) ने जीआईसी आरई, लॉयड्स (इंडिया) और एफआरबी (विदेशी री-इंश्योरेंस ब्रांच) को छोड़कर सभी बीमा कंपनियों को जारी एक परिपत्र में कहा कि डिजिलॉकर लागत में कटौती करेगा। यह पॉलिसी कॉपी की डिलीवरी न होने से संबंधित ग्राहकों की शिकायतों को दूर करने, बीमा सेवाओं के तेज प्रसंस्करण, शीघ्रता से दावों के निपटान, विवादों में कमी, धोखाधड़ी पर लगाम, उपभोक्ताओं तक बेहतर पहुंच समेत कई सुधारों का मार्ग प्रशस्त करेगा। इरडा ने कहा कि इससे उपभोक्ताओं को बेहतर अनुभव मिलने की उम्मीद है।
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