Wednesday, September 18, 2024
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Share Market Outlook : इस हफ्ते आने वाला है अमेरिका में ब्याज दर पर फैसला, एक्सपर्ट्स से जानिए उछलेगा बाजार या आएगी गिरावट

Share Market Outlook : बाजार का परिदृश्य प्रमुख घरेलू और वैश्विक आर्थिक आंकड़ों मसलन भारत की थोक मुद्रास्फीति, अमेरिका के औद्योगिक उत्पादन, अमेरिकी केंद्रीय बैंक के ब्याज दर पर निर्णय तथा अमेरिका के बेरोजगारी दावों के आंकड़ों से तय होगा।

Edited By: Pawan Jayaswal
Published on: September 15, 2024 11:39 IST
शेयर मार्केट- India TV Paisa
Photo:FILE शेयर मार्केट

स्थानीय शेयर बाजारों की दिशा इस सप्ताह अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व के ब्याज दर पर निर्णय से तय होगी। इसके अलावा वैश्विक मोर्चे पर कई वृहद आर्थिक आंकड़े और विदेशी निवेशकों की गतिविधियां भी बाजार को दिशा देंगी। विश्लेषकों ने यह राय जताई है। भारतीय शेयर बाजार के लिए बीता सप्ताह काफी उल्लेखनीय रहा। गुरुवार को निफ्टी और सेंसेक्स दोनों अपने सर्वकालिक उच्चस्तर पर पहुंच गए। उसी दिन बीएसई के 30 शेयरों वाले सेंसेक्स ने पहली बार 83,000 अंक के स्तर को पार किया।

अमेरिका में घटेगी ब्याज दर

स्वस्तिका इन्वेस्टमार्ट लि. के शोध प्रमुख संतोष मीणा ने कहा,‘‘इस सप्ताह साल का सबसे महत्वपूर्ण घटनाक्रम होने जा रहा है। फेडरल ओपन मार्केट कमेटी (एफओएमसी) की बैठक 18 सितंबर को होगी। यह लगभग तय है कि इससे ब्याज दर में कटौती चक्र की शुरुआत होगी। अमेरिका में आम सहमति ब्याज दर में 0.25 प्रतिशत की कटौती को लेकर है। हालांकि, कुछ बाजार भागीदार ब्याज दर में आधा प्रतिशत कटौती की उम्मीद कर रहे हैं।’’

वैश्विक बाजारों के लिये महत्वपूर्ण कदम

मीणा ने कहा, ‘‘इस तरह का कदम वैश्विक बाजारों के लिए एक महत्वपूर्ण सकारात्मक संकेतक होगा, खासकर भारत जैसे उभरते बाजारों के लिए। इससे डॉलर कमजोर होगा और अमेरिका में बॉन्ड यील्ड में कमी आएगी, जिससे भारतीय शेयर बाजारों में विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) का प्रवाह बढ़ेगा।’’उन्होंने कहा कि इसके अलावा जापान के मुद्रास्फीति आंकड़े शुक्रवार को आने हैं, जिसके बाद बैंक ऑफ जापान (बीओजे) की मौद्रिक नीति की घोषणा होगी। उन्होंने कहा कि विदेशी संस्थागत निवेशकों का प्रवाह, भू-राजनीतिक घटनाक्रम और कच्चे तेल के दाम भी बाजार के लिए महत्वपूर्ण रहेंगे।

ये आंकड़े भी अहम

मास्टर कैपिटल सर्विसेज लि. की निदेशक पल्का अरोड़ा चोपड़ा ने कहा,‘‘बाजार का परिदृश्य प्रमुख घरेलू और वैश्विक आर्थिक आंकड़ों मसलन भारत की थोक मुद्रास्फीति, अमेरिका के औद्योगिक उत्पादन, अमेरिकी केंद्रीय बैंक के ब्याज दर पर निर्णय तथा अमेरिका के बेरोजगारी दावों के आंकड़ों से तय होगा।’’बीते सप्ताह बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 1,707.01 अंक या 2.10 प्रतिशत के लाभ में रहा। वहीं, नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी 504.35 अंक या 2.02 प्रतिशत चढ़ गया।

कैसी होगी एफआईआई की रणनीति

रेलिगेयर ब्रोकिंग के वरिष्ठ उपाध्यक्ष-शोध अजित मिश्रा ने कहा,‘‘आगे की ओर देखें, तो यह सप्ताह काफी महत्वपूर्ण है। अमेरिकी केंद्रीय बैंक द्वारा ब्याज दर पर निर्णय की घोषणा 18 सितंबर को होगी। घरेलू स्तर पर बाजार भागीदारों की निगाह थोक मुद्रास्फीति के आंकड़ों और विदेशी कोषों के प्रवाह पर रहेगी।’’जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार वी के विजयकुमार ने कहा,‘‘13 सितंबर को समाप्त सप्ताह में एक जो प्रमुख बात रही, वह यह कि एफआईआई ने सप्ताह के सभी दिन लिवाली की।’’उन्होंने कहा कि दो कारण हैं कि एफआईआई ने अपनी रणनीति को बदल दिया है। एक, अब इस बात पर आम सहमति है कि अमेरिकी केंद्रीय बैंक इस महीने से दरों में कटौती शुरू कर देगा, जिससे अमेरिका में बॉन्ड पर यील्ड घट जाएगा। इससे उभरते बाजारों में निवेश बढ़ेगा। दूसरा, भारतीय बाजार काफी जुझारू है और यदि एफआईआई यहां निवेश नहीं करते हैं, तो यह एक खराब रणनीति होगी।’’

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